किडनी हो गई थी खराब
खबरों के मुताबिक रविंद्र जैन पिछले कई दिनों से मुंबई के लीलावती अस्पताल में भर्ती थे। 71 वर्षीय रविंद्र जैन किडनी में समस्या होने की वजह से यूरिनरी इंफेक्शन से पीडि़त थे। हालत गंभीर होने के कारण उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया था। हालत बिगड़ने पर रविंद्र जैन को नागपुर के वॉकहार्ड अस्पताल से मुंबई के लीलावती अस्पताल में शिफ्ट किया गया था। उन्हें एयर एंबुलेंस के जरिए सुबह 8.30 बजे यहां लाया गया। हालांकि इसके बाद उनका इलाज कर रहे डाक्टर्स का कहना था कि उनकी हालत स्थिर है। लेकिन आज उनका निधन हो गया।
डॉक्टरों ने चेताया था
हालत बिगड़ने के बाद मंगलवार को उन्हें वॉकहार्ड अस्पताल में शिफ्ट किया गया। वहां डॉक्टरों ने बताया कि उनकी हालत बेहद नाजुक है। उनके परिवार के सदस्य, पत्नी दीया और भाई मनिंद्र भी उनके पास नागपुर पहुंच गए थे और उन्होंने ही रविंद्र को मुंबई ले जाने की जिद की। मंगलवार को रविंद्र के दामाद संजय जैन भी उनसे मिलने वॉकहार्ड अस्पताल पहुंचे थे। वैसे रविंद्र जैन पिछले काफी समय से बीमार चल रहे थे और लीलावती अस्पताल में उनका इलाज भी चला था।
Shri Ravindra Jain will be remembered for his versatile music & fighting spirit. Pained on his demise. Condolences to his family & admirers.
— Narendra Modi (@narendramodi) October 9, 2015
कई फिल्मों में दिया संगीत
28 फरवरी, 1944 को अलीगढ़ में जन्में रविंद्र जैन अपने संगीत के चलते दुनियाभर में मशहूर थे। दुनिया को देख न पाने के बावजूद उन्होंने फिल्मों में अपने संगीत को रौशन किया। 70 के दशक में उन्होंने बतौर बॉलीवुड संगीतकार के रूप में अपने करियर की शुरुआत की। उन्होंने फिल्म 'चोर मचाए शोर' (1974), 'गीत गाता चल' (1975), 'चितचोर' (1976), 'अखियों के झरोखों से' (1978) जैसी कई हिंदी फिल्मों में संगीत दिया था। उनका संगीत काफी लोकप्रिय हुआ।
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