2016 में मिला था रिकग्निशन

साल 2016 में गिनीज बुक ऑफ वल्र्ड रिकॉर्ड्स ने उन्हें दुनिया के सबसे व्यक्ति के रूप में प्रमाणित किया था। क्रिस्टल के दो बच्चे, नौ पोते-पोतियां और 32 पर पोते-पोतियां थीं। पिछले साल क्रिस्टल सुर्खियों में आए थे, जब उन्होंने अपने बार मिटज्वाह के 100 साल पूरे होने का जश्न मनाने का फैसला किया था। यहूदी मत के अनुसार, जब कोई लड़का या लड़की 13 साल की हो जाती है, तो वह अपने कामों के लिए खुद जिम्मेदार होती है। जब क्रिस्टल 1916 में 13 साल के हुए थे, तब कुछ ही समय पहले उनकी मां की मौत हो गई थी। उस वक्त उनके पिता प्रथम विश्व युद्ध के दौरान रूसी सेना में सैनिक थे।

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फैमिली स्वीट फैक्ट्री में काम

क्रिस्टल की बेटी शुला कोपर्सटोच ने पिछले साल एक इंटरव्यू में कहा था कि उनके पिता धार्मिक व्यक्ति थे। वह पिछले 100 सालों से हर रोज सुबह ईश्वर की प्रार्थना करते थे, लेकिन उनका कभी बार मिटज्वाह नहीं हुआ था। क्रिस्टल का जन्म 15 सितंबर 1903 में जारनो में हुआ था, जो अब पोलैंड में आता है। प्रथम विश्वयुद्ध के बाद क्रिस्टल लॉड्ज में शिफ्ट हो गए थे, जहां उन्होंने फैमिली स्वीट फैक्ट्री में काम किया।

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यहूदियों को रखा गया था

मगर, उनका परिवार उस वक्त दहशत में आ गया था, जब द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान नाजियों ने यहूदी बस्तियों में दखल देकर उनकी हत्याएं करना शुरू कर दिया था। उन्हें भी पकड़कर नाजी कॉन्सेंट्रेशन कैंप में भेज दिया गया था, जहां 11 लाख यहूदियों को रखा गया था। इनमें से अधिकांश यूरोपीय यहूदी थे, जिनकी साल 1940 से 1945 के बीच हत्या कर दी गई थी।

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