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PATNA : राजधानी में चिन्हित कुल डेंगू मरीजों का 50 फीसदी संख्या अंचल कंकड़बाग में मौजूद है। अभी यह आंकड़ा और भी बढ़ सकता है क्योंकि करीब पांच लाख की आबादी वाले इस अंचल में हर दूसरे घर में बुखार से एक मरीज जूझ रहा है। इन्हें मलेरिया और डेंगू का संदिग्ध मरीज बताया जा रहा है। इन बीमारियों का सबसे बड़ा कारण इस अंचल में सर्वाधिक जल भराव है जो बारिश या फिर मोहल्ले से निकलने वाला पानी है। जिसकी निकासी के लिए नगर निगम के पास कई व्यवस्था नहीं है। स्थानीय लोगों ने बताया कि डेंगू जनित लारवा और मच्छरों का प्रकोप है। जिसपर नियंत्रण पाने में नगर निगम फेल है। डीजे आई नेक्स्ट ने जब वहां के लोगों से बात की तो सभी ने कहा-वार्डो में महीनों तक बारिश का पानी जमा रहता है लेकिन उसकी निकासी नहीं होती है।

पहले ही चेता चुका आई नेक्स्ट

कंकड़बाग अंचल में जल भराव और लोगों को होने वाली समस्या को लेकर दैनिक जागरण आई नेक्स्ट ने पिछले महीने खबर

प्रकाशित किया था। इसके बाद भी अंचलों के वार्डो में न तो मच्छररोधी दवा का छिड़काव किया गया न तो बारिश के जमेपानी को निकाला गया।

अफसर ने की पुष्टि

निगम के मलेरिया पदाधिकारी का दावा है कि शहर में पाए गए कुल 83 डेंगू मरीजों में 46 मरीज कंकड़बाग एरिया से चिन्हित किए गए हैं। वार्ड के लोगों का कहना है कि आसपास स्वास्थ्य केंद्र खोल रहे फिजिशियन के यहां औसतन 13 से 20 बुखार से जूझ रहे हैं। इनमें कई लोगों को डेंगू होने की पुष्टि हो चुकी है। कंकड़बाग अंचल में एक महामारी के रूप में डेंगू ने पांव पसारा है। लेकिन मच्छररोधी दवा और एंटी लारवा मेडिसीन का छिड़काव नहीं किया गया।

कई वार्डो में जल जमाव

वार्ड 31 में इंदिरा नगर मेन रोड और पोस्टल पार्क से नवरत्नपुर ठाकुर बाड़ी तक जल निकासी न होने से समस्या उत्पन्न हुई है। अंचल के आधे दर्जन से भी अधिक वार्डो से जल निकासी न होने की वजह से गंदगी और मच्छरों का प्रकोप बढ़ा है। इसकी वजह से हर घर में लोग बीमार हो रहे हैं।

स्वास्थ्य विभागों से जो रिपोर्ट हमें मिली है। इस मामले में हम बहुत ही गंभीर हैं। कंकड़बाग अंचल में 46 लोगों के डेंगू से पीडि़त होने की पहचान हुई है।

शंभू शरण सिंह,मलेरिया पदाधिकारी, नगर नगर निगम पटना