- ऐढ़े गांव जाने वाली सड़क की दीवारों पर की गयी है आकर्षक पेंटिंग

- दीवारों पर गंगा घाटों का दृश्य, नरेंद्र मोदी का श्रम दान, गांव की दिखेगी चौपाल

VARANASI

प्रवासी भारतीय सम्मेलन के मद्देनजर 'काशी' को शहर की दीवारों पर बसा दिया गया है। गंगा की अविरल धारा, घाटों का मनोहारी दृश्य, गांव की चौपाल, नरेंद्र मोदी का श्रमदान, संगीत घराना, शहर का मस्त मौला मिजाज से मेहमान रुबरु होंगे। ऐढे़ गांव पहुंचने से पहले ही प्रवासी भारतीय काशी की झलक देखेंगे। जिससे अतिथि देवो भव: का अहसास भी होने लगेगा।

18 से आने लगेंगे मेहमान

एनआरआई समिट में शिरकत करने वाले एनआरआई का आगमन 18 से शुरू हो जाएगा। बाबतपुर एयरपोर्ट से बाहर आते ही उन्हें दीवारों पर उकेरी गयी आकर्षक पेंटिंग काशी से परिचित कराने लगेगी। प्रमुख सड़कों से लेकर ऐढ़े गांव स्थित टेंट सिटी तक दीवारों पर मौजूद तमाम पात्र खुद बयां कर देंगे काशी का मौजूदा स्वरूप। इसके अलावा मीरा की दीवानगी, कबीर की दास्तां, संगीता घराने का इतिहास, सीता-राम विवाह, श्रीकृष्ण की रासलीला, राजा-रजवाड़ों का दरबार, भगवान बुद्ध की क्लास, प्राथमिक विद्यालय की पाठशाला, गंगा आरती, घाटों के पंडा, महिलाओं की टोली, साधू-संतों की संगत भी प्रवासी भारतीय देख सकेंगे।

टेंट सिटी में चलेगा ई-रिक्शा

ऐढ़े गांव में 42 एकड़ एरिया में बन रहे टेंट सिटी में ठहरने वाले प्रवासियों की सुविधा के लिए ई-रिक्शा चलाया जाएगा। वीडीए के अधिशासी अभियंता राजकुमार ने बताया कि ऐढ़े गांव में एनआरआई को ठहरने के लिए बन रही टेंट सिटी कई एकड़ में फैली है। इसके अलावा टीएफसी, एग्जीवेशन कम्पाउंड आदि जगहों पर एनआरआई का आना-जाना रहेगा। टेंट सिटी से टीएफसी की दूरी काफी है। इसी को ध्यान में रखकर एनआरआई के लिए 12 ई-रिक्शा की व्यवस्था की गयी, जिसे आकर्षक रूप से सजाया जाएगा। सभी रिक्शे टेंट सिटी में रहेंगे, जो भी एनआरआई चाहेगा वह उससे सैर कर सकता है।

सुरक्षा के इंतजाम नहीं

प्रवासी भारतीय दिवस को यादगार बनाने के लिए शासन और प्रशासन जुटा है, लेकिन उनकी छोटी सी गलती घातक हो सकती है। ऐढ़े गांव में बन रही टेंट सिटी में बिना रोक-टोक आमजनों की आवाजाही हो रही है। उन्हें रोकने के लिए पुलिस की व्यवस्था नहीं की गयी है। लोग काटेज के अंदर जाकर सेल्फी ले रहे हैं। लोगों की आवाजाही से टेंट सिटी के निर्माण में जुटे कर्मचारियों को दिक्कतें हो रही हैं। मना करने पर तू-तू, मैं-मैं की स्थिति उत्पन्न हो जा रही है। ऐसी स्थिति में एजेंसी के सामने समय पर काम पूरा करना चुनौती से कम नहीं है। इसके अलावा किसी बड़ी घटना से भी इनकार नहीं किया जा सकता है।