मेडिकल कॉलेज के नोडल अधिकारियों को करना होगा प्रसार-प्रचार

जागरूकता बढ़ाने के लिए शासन तैयार कर रहा योजना

Meerut। ई-हॉस्पिटल की कतार में शामिल हुए मेडिकल कॉलेज के डॉक्टर्स को अब जगह-जगह इसका प्रचार-प्रसार भी करना होगा। ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन और एप्वाइंटमेंट के लिए मरीजों में अवेयरनेस न होने के कारण यह योजना चिकित्सा के क्षेत्र मे मील का पत्थर साबित नहीं हो पा रही है। जिसके चलते शासन की ओर से यह योजना तैयार की जा रही है।

ऐसे काम करेगी योजना

योजना के तहत प्रदेश के सभी राजकीय मेडिकल कॉलेजों के ई-हॉस्पिटल के नोडल इंचार्ज को जगह-जगह जाकर योजना के संबंध में लोगों को जानकारी देनी होगी। साथ ही लोगों को पूरी प्रक्रिया समझाकर इसका प्रयोग करने के लिए जागरूक किया जाएगा। नोडल अधिकारी को गांवों, सीएचसी, पीएचसी, आंगनबाड़ी केंद्रों समेत कॉलेजों में भी इसके लिए सेमीनार का आयोजन कर जानकारी फैलानी होगी ताकि अधिक से अधिक मरीजों को इसके बारे में पता चले और अस्पताल में लगने वाली भीड़ कम की जा सके।

नहीं बढ़ रहे मरीज

एलएलआरएम कॉलेज समेत प्रदेश के छह सरकारी मेडिकल कॉलेज और दो संस्थानों में हाल ही ई-हॉस्पिटल योजना शुरू की गई थी। इस योजना का उद्देश्य लोगों को घर बैठे ही ओपीडी में नंबर और डॉक्टर से एप्वाइंटमेंट उपलब्ध कराना है। मगर मरीज इस योजना का फायदा उठाने में असमर्थ हो रहे हैं। इस योजना के तहत मेडिकल कॉलेज में रोजाना 100 मरीज भी ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन नहीं करवा रहे हैं, जबकि यहां रोजाना 4000 तक मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं।

जानकारी के अभाव में अभी लोग ई-हॉस्पिटल योजना का फायदा नहीं ले पा रहे हैं। इसीलिए हम ई-हॉस्पिटल के बारे में लोगों को जानकारी देने के लिए अवेयरनेस कैंप लगवाने की योजना तैयार कर रहे हैं।

डॉ। सचिन सिंह, स्टेट नोडल इंचार्ज, ई-हॉस्पिटल