बीआरडी का मामला

- परिजनों ने डॉक्टर पर लगाया लापरवाही का आरोप

- कहा-आईसीयू से मरीज को नहीं निकाला जाता तो बच जाती जान

- सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने मामले को कराया शांत

GORAKHPUR:

बीआरडी मेडिकल कॉलेज में मरीज की मौत के बाद परिजनों ने हंगामा शुरू कर दिया और आईसीयू में तोड़फोड़ की। सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने परिजनों को समझा बुझाकर मामले को शांत करवाया।

गुरूवार को मरीज की बिगड़ी तबियत

देवरिया जिले के भाटपाररानी थाना क्षेत्र के महराइच गांव निवासी 70 वर्षीय रामानंद तिवारी की हालत बिगड़ गई। परिजनों ने 7 मई को उन्हें सर्जरी विभाग में भर्ती करवाया। डॉक्टर्स ने उनके आंत का ऑपरेशन कर पुरानी इमरजेंसी के आईसीयू में भर्ती किया। बुधवार की रात डॉक्टर्स ने उन्हें आईसीयू से निकालकर ट्रामा सेंटर के पीओपी वार्ड बेड संख्या 10 पर शिफ्ट कर दिया। जिसके बाद गुरुवार को उनकी हालत खराब हो गई। सुबह 9 बजे मरीज की मौत हो गई। मौत के बाद परिजनों ने डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा कि यदि मरीज को आईसीयू से नहीं निकाला गया होता तो उनकी मौत नहीं होती। इस बीच मृतक का पुत्र सतीश चंद तिवारी ने विरोध करते हुए आईसीयू के केबिन का शीशा तोड़ दिया और हंगामा करते हुए बेहोश हो गया। किसी ने इसकी जानकारी गुलरिहा पुलिस को दी। सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने परिजनों को समझा-बुझाकर मामले को शांत करवाया। उधर, मेडिकल प्रशासन ने भी लिखित कार्रवाई नहीं किया है। इस मामले में गुलरिहा थाने के प्रभारी का कहना है कि किसी अज्ञात व्यक्ति ने इसकी सूचना दी थी। पुलिस मौके पर पहुंच कर मामले को शांत करवाया और मृतक के परिजनों ने शीशा लगावाने की जिम्मेदारी ली।