10 रुपए एक पानी की बोतल का चार्ज
200 किमी से अधिक जर्नी पर मिलता है पानी
580 एसी बसें रोडवेज के पास
25 हजार लोग डेली करते जर्नी
10 रुपए कम होंगे पानी न लेने पर
- वॉल्वो, स्कैनिया संग सभी एसी बसों में पानी न लेने पर कम होगा किराया
- आधा लीटर पानी देते हैं बसों में, गर्म पानी की आ रही है शिकायत
sanjeev.pandey@inext.co.in
LUCKNOW: परिवहन निगम जल्द ही हाईएंड बसों के साथ एसी बसों का किराया 10 रुपए कम करने की तैयारी कर रहा है. किराया कम होने के बाद इन बसों में दी जाने वाली पानी की बोतल की सुविधा खत्म हो जाएगी. इस पर डिसीजन लेने का निर्देश परिवहन निगम ने मुख्य प्रधान प्रबंधक संचालन को दिया है. गौरतलब है कि इन बसों में सफर करने वाले यात्री गर्म पानी की बात कहकर पानी न देने की जगह किराया कम करने की मांग कर रहे थे.
मिलता है आधा लीटर पानी
अभी वॉल्वो, स्कैनिया, स्लीपर, जनरथ आदि एसी बसों में हर यात्री को आधा लीटर पानी की बोतल दी जाती है. टिकट में ही इसके लिए 9 से 10 रुपए जोड़कर लिए जाते हैं. 200 किमी से अधिक यात्रा करने वालों को यह पानी की बोतल दी जाती है.
आ रही थीं शिकायतें
गर्मी शुरू होते ही डिपार्टमेंट के पास शिकायतें आ रही थीं कि इन बसों में जो पानी दिया जाता है, वह गर्म होता है. जिसे पिया नहीं जा सकता. कई मुसाफिरों ने तो पानी की बोतल न देने की बात भी अधिकारियों से की और कहा कि पानी न देकर वे किराए में 10 रुपए की कमी कर दें. दिल्ली, वाराणसी, आगरा, जयपुर और सोनौली जाने वाली बसों के पैसेंजर्स ने यह शिकायत की है.
कंपनी के पास नहीं है फ्रीजर
डिपार्टमेंट के अधिकारियों ने बताया कि यह समस्या सिर्फ लखनऊ में सामने आ रही है. जिस कंपनी के पास इसका ठेका है, उसके पास पानी ठंडा करने के लिए फ्रीजर नहीं है. वहीं सूत्रों का कहना है कि कुछ अधिकारियों के साथ मिलकर पानी सप्लाई करने वाली कंपनी ने कैसरबाग बस अड्डे पर एक दुकान पर कब्जा कर लिया है. वहीं एक दूसरी दुकान की भी डिमांड की जा रही है. एमडी धीरज साहू ने एआरएम प्रबंधन कैसरबाग को इस दुकान को खाली कराने के निर्देश दे दिए हैं.
कोट
गर्म पानी मिलने की शिकायत आई है. पैसेंजर्स अगर पानी नहीं लेना चाहते हैं तो उनके किराए से इस राशि को कम करना चाहिए. इसके लिए मुख्य प्रधान प्रबंधक से रिपोर्ट मांगी गई है. जो लोग पानी की बोतल नहीं लेंगे, उनके किराए में इसकी कीमत कम की जाएगी.
धीरज साहू, एमडी
परिवहन निगम