चीन को पछाड़ देंगे इस बार
मंगलवार को दोनों संस्थानों ने अलग-अलग जारी की गई अपनी रिपोर्ट में यह अनुमान जताया है. वर्ल्ड बैंक ने साउथ एशिया आर्थिक फोकस और आईएमएफ ने विश्व आर्थिक परिदृश्य नाम से रिपोर्ट जारी किए. दोनों संस्थानों के मुताबिक निवेश केंद्रित विकास और तेल मूल्य में गिरावट का लाभ भारत को मिलेगा. आईएमएफ ने कहा, 'चीन की विकास दर इस साल घटकर 6.8 फीसदी और अगले साल 6.3 फीसदी रहेगी. वहीं भारत की वृद्धि दर गत वर्ष 7.2 फीसदी से बढ़कर इस साल 7.5 फीसदी रहेगी.'
8 परसेंट तक पहुंच सकती है
वहीं वर्ल्ड बैंक का यह भी कहना है कि, '2016-18 के दौरान निवेश वृद्धि दर 12 परसेंट रहेगी और इसके कारण देश की विकास दर 2015-16 में 7.5 परसेंट और 2017-18 में 8 परसेंट तक पहुंच सकती है.' हालांकि गत सप्ताह वैश्विक रेटिंग एजेंसी मूडीज ने भी भारतीय परिदृश्य को स्थिर से बेहतर कर सकारात्मक रेटिंग दिया था, वहीं एक अन्य वैश्विक रेटिंग एजेंसी फिच ने स्थिर परिदृश्य को बरकरार रखा. इसी तरह विकसित देशों के थिंक टैंक ऑर्गनाइजेशन फॉर इकॉनॉमिक कॉपरेशन एंड डेवलपमेंट (OECD) ने कहा कि भारत की विकास दर बढ़ेगी, वहीं एशियाई विकास बैंक ने भी कहा कि देश की विकास दर 2015-16 में 7.8 परसेंट तथा 2016-17 में 8.2 परसेंट रहेगी.
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