-उमरिया सैदपुर से सैकड़ों लोग रात में खजुरिया की ओर निकले

-पुलिस के रोकने पर पथराव, पुलिस ने फायरिंग कर संभाला मोर्चा

BAREILLY: खजुरिया-उमरिया गांवों के बीच का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। फ्राइडे रात उमरिया सैदपुर के सैकड़ों लोगों ने खजुरिया ब्रह्मानान गांव पर हमला करने की कोशिश की। सैकड़ों लोग उमरिया से निकलकर खजुरिया की ओर बढ़ गए। पुलिस ने मोर्चा न लिया होता, तो खजुरिया में बड़ा बवाल हो जाता है। पुलिस ने जब भीड़ को रोकने का प्रयास किया तो उन्होंने पुलिस से मारपीट कर पथराव शुरू कर दिया। फोर्स ने लाठियां भांजने के साथ-साथ फायरिंग व आंसू गैस के गोले छोड़कर भीड़ को खदेड़ा। हमले में एसएचओ बिथरी चैनपुर, हल्का इंचार्ज समेत 4 पुलिसकर्मी घायल हो गए। पुलिस ने मौके से 4 बवालियों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने 22 नामजद व 400 अज्ञात के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है।

कलारी के ताजिये निकालने की थी मांग

बता दें कि फ्राइडे को ताजिये को लेकर सुबह से ही विवाद शुरू हो गया था। खजुरिया, सिमरा और कंथरिया में रास्ता रोकने के बाद कलारी और चंदपुर के ताजिये नहीं निकल सके थे। इसके बाद पुलिस-प्रशासन को लगा था कि अब मामला सुलझ गया है, लेकिन बिथरी चैनपुर विधायक पप्पू भरतौल उर्फ राजेश मिश्रा के कार्यालय के सामने हरुनगला के ताजिये रोकने से विवाद फिर से शुरू हो गया था। मोहनपुर के ताजियों को नकटिया चौकी के सामने रोककर हाइवे जाम कर दिया गया था और हरुनगला के साथ-साथ कलारी और चंदपुर के ताजिये खजुरिया के रास्ते निकालने की मांग शुरू हाे गई थी।

ताजिएदार हो गए थे तैयार

बताया जा रहा है कि कलारी व चंदपुर के 20-25 लोगों ने पहुंचकर मोहनपुर के ताजिऐदारों को भड़काया था। इधर पुलिस ने नकटिया में ताजियेदारों को मनाने में लगी थी कि इधर से लोगों ने वीडियो और फोटो व्हाट्सएप व सोशल मीडिया पर भेजना शुरू कर दिया था। जिसके चलते चंदपुर व कलारी के ताजिएदार भी फिर से तैयार हो गए थे। चंदपुर में ताजिये गांव में भी घूमने लगे थे। यहां पर एसपी क्राइम को फोर्स के साथ मोर्चा संभालने के लिए भेजा गया था। इन दोनों जगहों पर फोर्स तैनात थी और हल निकालने की कोशिश की जा रही थी, तो उमरिया के दूसरे छोर पर खजुरिया में हमले की प्लानिंग शुरू हाे गई थी।

खदेड़ने पर हो गए थे उग्र

उमरिया के लोग धीरे-धीरे खजुरिया के रास्ते पर हथियार लेकर इकट्ठा होकर आगे बढ़ने लगे। उस वक्त हल्का प्रभारी ब्रिजपाल सिंह, कॉन्स्टेबल मोहित दीक्षित और कॉन्स्टेबल योगेश उपाध्याय पिकेट पर मौजूद थे। इन तीनों पुलिसकर्मियों ने उन्हें करीब 5 मिनट रोकने का प्रयास किया लेकिन कोई नहीं माने। सभी कलारी जाने के बहाने आगे जाने की कोशिश कर रहे थे। इसी दौरान सूचना मिलने पर इंस्पेक्टर जयप्रकाश यादव भी जीप लेकर पहुंच गए। उन्होंने पहले समझाने का प्रयास किया लेकिन जब नहीं माने तो लाठियां भांजकर पीछे खदेड़ दिया। इसी दौरान कुछ लोगों ने फिर भड़काऊ बात कहना शुरू कर दिया और फिर भीड़ ने पुलिस पर पथराव कर दिया। जिसमें इंस्पेक्टर, एसआई व सिपाही घायल हो गए। इसी दौरान सीओ सिटी वन कुलदीप कुमार व सीओ सिटी थर्ड अशोक मीणा फोर्स के साथ पहुंचे और लाठियां भांजकर भीड़ को खदेड़ा।

इन लोगों पर दर्ज हुई एफआईआर

इस रास्ते पर ही कांवड़ यात्रा रोकने के दौरान सैकड़ों लोग हथियार लेकर इकट्ठा हो गए थे। उस वक्त भी फोर्स ने मोर्चा संभाला था। पुलिस ने एफआईआर भी दर्ज की थीं, लेकिन किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई थी। एक बार फिर से पुलिस ने कामिल, कमल हसन, शारिक, इमरान, असलम, सद्दाम, अहमद नवी, इजात नवी, यूनिस, लाल मोहम्मद, यासीन, पप्पू, शकील, भूरे, शानू, तस्लीम, मुजीद, शादाब, युसुफ, तौफीक, झब्बू, और 300-400 अज्ञात के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। पुलिस ने कामिल, लाल मोहम्मद, यासीन और झब्बू को गिरफ्तार किया है।

सभी एरिया में फोर्स तैनात

बिथरी, इज्जतनगर और कैंट के सभी विवादित गांवों में फोर्स तैनात की गई है। खजुरिया और उमिरया के रास्ते पर पीएसी और एसएसबी लगाई गई है। डीएम-एसएसपी भी सुबह से फ्लैग मार्च करते नजर आए। उमिरया, खजुरिया और फरीदापुर तिराहे को छावनी में तब्दील कर दिया गया है। पीआरवी की गाडि़यां भी लगाई गई हैं। विवाद शांत न होने तक इन सभी जगहों पर फोर्स तैनात रहेगी।

खजुरिया व आसपास के गांव में दहशत

खजुरिया, कंथरिया और सिमरा गांव में दहशत का माहौल है। यहां के लोगों में पुलिस के साथ-साथ उमरिया के लोगों का भी खौफ साफ नजर आ रहा है। लोग घरों से बाहर निकल नहीं रहे हैं। गांव के ज्यादातर पुरुष बाहर चले गए हैं और गांव में महिलाएं बची हैं। वह भी डरी हुई हैं। सबसे ज्यादा डर खजुरिया के लोगों में है, क्योंकि उन्हें लगता है कि पुलिस कब तक तैनात रहेगी। उमरिया के लोग कभी भी भीड़ के साथ गांव में हमला कर सकते हैं। क्योंकि उनका गांव काफी छोटा है। यही वजह है कि लोग अपना नाम तक बताने से डर रहे हैं।

नहीं छोड़े गए पकड़े लोग

फ्राइडे को पुलिस ने ट्राली लगाकर रास्ता रोकने के प्रयास में पकड़े गए लोगों को विधायक के फोन के बाद भी नहीं छोड़ा है। इन सभी 16 लोगों को पुलिस लाइन लेकर जाया गया था। जहां से सैटरडे को कोर्ट में पेश किया गया। इन सभी के परिजनों ने ही पुलिस पर दौड़ा-दौड़ाकर पीटने का आरोप लगाया था। पुलिस ने इनके खिलाफ बलवा करने, रास्ता रोकने, समेत कई गंभीर धाराओं में एफआईआर दर्ज की है। पुलिस ने 19 लोगों ओमकार, रामबाबू, कालीचरन, विक्रम, ओमकार सिंह, जसवीर सिंह, सुभाष, मिथुन, बब्लू, हरिओम, सुरेंद्र, शनी, ऋषिपाल, राजीव, छत्रपाल मौर्या, प्रताप सिंह, सत्यपाल, राजेश और किशनलाल के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। जिसमें से 16 लोगों को गिरफ्तार किया है।

हाइवे रोकने वाले ताजिएदारों पर एफआईआर

कैंट पुलिस ने हाइवे पर नकटिया में ताजिये रखकर जाम लगाने वालों पर एफआईआर दर्ज की है। पुलिस ने मोहनपुर के पूर्व प्रधान भूरा उर्फ यूनुस, बाबर, इसरार अली, सगीर, कुंदा हुसैन, शफीक, फारुख, फुरकान, मोहम्मद युनुस, जाहिद, फारुख, मोहम्मद नफीस, साबिर, अली सेन, समेत 46 नामजद और 700 अज्ञात के खिलाफ जाम लगाने, बवाल करने, धार्मिक भावनाएं भड़काने, समेत विभिन्न धाराओं में एफआईआर दर्ज की है। इसमें ताजिएदारों को भी आरोपी बनाया गया है। पुलिस ने एफआईआर में लिखा है।

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