186629 उपभोक्ता हैं शहर में
20 सब स्टेशन हैं सिटी में
117 फीडर्स शहर में हैं
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- 117 फीडर्स के मेंटेनेंस का जो काम अक्टूबर में होना था शुरू, वो अब मई से शुरू होगा
- कुछ इलाकों में सुबह 10 से शाम पांच बजे तक तो कुछ में चार से पांच घंटे की होगी कटौती
बरेली : अपनी लेट लतीफी के लिए पहचाने जाने वाले बिजली विभाग के काम करने के तरीके का खामियाजा इस तपती गर्मी में शहर के लोगों को भुगतना होगा. लाइन लॉस को कम करने के लिए शहर के 117 फीडर्स के मेंटेनेंस का जो काम अक्टूबर में शुरू हो जाना चाहिए था, वह अब मई में शुरू होगा. इससे शहर के कुछ इलाकों में सुबह 10 से शाम पांच बजे तक तो कुछ में चार से पांच घंटे की कटौती मई से की जाएगी. फीडर के मेंटेनेंस के कारण सभी इलाकों में बारी-बारी से शट डाउन लिया जाएगा. विभाग का तर्क है कि चुनाव में व्यस्तता होने के कारण इस काम में देरी हो गई.
ट्रिपिंग की समस्या होगी दूर
विभाग क ा तर्क है कि शहर में ट्रिपिंग बड़ी समस्या है. पूरे साल सबसे ज्यादा शिकायतें ट्रिपिंग की ही आती हैं. ट्रिपिंग की समस्या लाईन लॉस की वजह से ही होती है, इसलिए फीडर को दुरुस्त कर इस समस्या से निजात दिलाई जाएगी.
इन एरिया में सबसे पहले कटौती
रामपुर गार्डन, राजेंद्र नगर, डीडीपुरम, सुभाषनगर, सिविल लाइंस और पुराना शहर से विभाग को सबसे अधिक ट्रिपिंग की शिकायत आई हैं. इसलिए सबसे पहले इन इलाकों में ही मेंटिनेंस का कार्य शुरू कराया जाएगा.
सुबह 10 से 5 बजे चलेगा काम
विभाग की ओर से तैयार की गई कार्य योजना के मुताबिक एक दिन में शहर के दो से पांच फीडर ठीक किए जाएंगे. इस कारण सुबह 10 से 5 बजे तक बिजली सप्लाई बंद रहेगी.
यहां छुट्टी के दिन होंगे दुरुस्त
जिन फीडर्स से सरकारी विभागों और बैंकों को सप्लाई दी जा रही है, वहां छुट्टी के दिन मरम्मत का काम चलेगा. जिससे काम में किसी भी प्रकार की रुकावट न आए.
सर्वे कर दी जाएगी जानकारी
जिन क्षेत्रों में फीडर मेंटेनेंस का काम चलेगा, वहां एक दिन पहले ही विभागीय कर्मचारियों की ओर से सर्वे कर लोगों को बिजली सप्लाई बाधित होने की जानकारी दे दी जाएगी.
वर्जन
मई से फीडर मेंटेनेंस का कार्य प्रारंभ होगा. इसके लिए कार्य योजना तैयार कर ली गई है. इस दौरान कुछ घंटों तक सप्लाई बाधित होगी, जिसकी सूचना संबंधित क्षेत्रवासियों को पहले ही दे दी जाएगी.
एनके मिश्रा, एसई.
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इसलिए लेटलतीफी
- हर साल शासन फीडर मेंटेनेंस के लिए विभाग को 12 करोड़ रुपये अक्टूबर में ही जारी कर देता है.
-ऐसा इसलिए होता है क्योंकि इस दौरान मौसम ठंडा रहता है और बिजली की खपत भी कम होती है.
- अगर ठंड में ही यह काम खत्म कर लिया जाता तो लोगों को गर्मी में संकट का सामना नहीं करना पड़ता
अजीब तर्क दे किया डिफेंड
विभाग का तर्क है कि कर्मचारी अक्टूबर में ही चुनाव में व्यस्त हो गए थे. ऐसे में तब यह काम शुरू नहीं हो सका. साथ ही यह भी बताया कि यह काम मात्र दो महीने में पूरा हो जाता है. जबकि बरेली में चुनाव 23 अप्रैल को प्रस्तावित था और चुनाव ड्यूटी मार्च के बाद ही लगनी शुरू हुई. ऐसे में इन छह महीनों में काम का न होना सवाल खड़े करता है.