कांचीपुरम के देवराजस्वामी मंदिर में करीब 40 वर्षों के बाद अत्तिवरदर देवता सरोवर से बाहर निकले हैं। ऐेसे में लाखों भक्त इनके दुर्लभ 'दर्शन' के लिए तैयार हैं। यहां 1 जुलाई से भक्त दर्शन कर सकेंगे।


चेन्नई (आईएएनएस)। कांचीपुरम के देवराजस्वामी मंदिर में पिछले 40 वर्षों से मंदिर के सरोवर में पानी के नीचे चांदी के संदूक में पड़ी अत्तिवरदर (अंजीर के पेड़ से बनी) की मूर्ति को शुक्रवार सुबह निकाला गया। यह मूर्ति करीब 12 फुट की है। देवराजस्वामी मंदिर वरदराजा पेरुमल मंदिर के नाम से भी प्रसिद्ध है। यहां भक्त 48 दिन तक अत्तिवरदर के दर्शन कर सकेंगे।

24 दिन खड़ी मुद्रा में आशीर्वाद देंगेभक्त 1 जुलाई से 17 अगस्त तक दर्शन कर सकेंगे। अत्तिवरदर पहले 24 दिन लेटी मुद्रा में और फिर 24 दिन खड़ी मुद्रा में आशीर्वाद देंगे। इससे पहले आखिरी बार मंदिर को 2 जुलाई, 1979 को अत्तिवरदर देवता सरोवर से बाहर निकले थे। इससे पहले 1939 को उन्होंने दर्शन दिए थे। एक व्यक्ति अपने जीवनकाल में एक या दो बार ही अत्तिवरदर का दर्शन कर सकता है।बाबा को में चढ़ रहा ई-चढ़ावा
1 जुलाई से 17 अगस्त के बीच होंगे दर्शन


कांचीपुरम जिले के कलेक्टर पी पोनियाह का कहना है कि 1 जुलाई से 17 अगस्त के बीच प्रति दिन 30,000 – 50,000 भक्तों के दर्शन करने की उम्मीद है। ऐसे में सभी उचित व्यवस्थाएं की गई है।शहर के बाहर तीन अस्थायी बस स्टैंड बनाने के साथ ही कारों व अन्य वाहनों के लिए पार्किंग स्थल बनाए गए हैं।

Posted By: Shweta Mishra