-परिजनों का आरोप, हालत बिगड़ने पर भी नहीं दिया इलाज

LUCKNOW:

केजीएमयू के ट्रॉमा सेंटर में सोमवार को फिर एक युवती की मौत हो गई। इस मामले में भी डॉक्टर्स पर लापरवाही का आरोप लगा है। युवती की मौत के बाद भड़के परिजनों ने ट्रॉमा के सामने सड़क पर शव रखकर प्रदर्शन किया।

मेडिसिन विभाग में थी भर्ती

परिजनों के अनुसार राजेंद्र नगर निवासी शालू गौतम (16) को बुखार आने पर स्थानीय अस्पताल में दिखाया गया। फायदा न होने पर सिविल लाया गया, जहां से उसे ट्रॉमा भेजा गया। शालू को ट्रॉमा के दूसरे तल पर मेडिसिन विभाग में भर्ती किया गया। पिता लाला और मां दिव्या का आरोप है कि बेटी रात भर दर्द से कराहती रही, लेकिन कोई डॉक्टर देखने नहीं आया। बाद में खून और रेडियोलॉजी से संबंधित जांचे कराई। जांच को लेकर भी भटकते रहे।

इंजेक्शन के बाद बिगड़ी हालत

परिजनों ने बताया कि सोमवार सुबह मरीज दर्द के कारण तड़प रही थी और उल्टी हुई तो डाक्टर्स से गुहार लगाई। लेकिन किसी ने नहीं सुना। जिसके बाद वार्ड में ही परिजनों ने हंगामा शुरू कर दिया। जिसके बाद डॉक्टर ने पैरामेडिकल स्टाफ से इंजेक्शन लगवाया। जिसके बाद उसकी हालत बिगड़ गई। सांस लेने में दिक्कत हुई और किसी ने ऑक्सीजन तक नहीं दी। जिसके करीब आधे घंटे बाद ही उसकी सांसे थम गई।

नहीं दिया समय पर इलाज

मां द्विव्या के अनुसार बेटी शालू की चार दिन पहले तबियत एकदम ठीक थी। यहां पर इलाज मिल जाता तो यह दिन न देखना पड़ता। इसके बाद परिजनों ने ट्रॉमा सेंटर के बाहर शव रोड पर रखकर जमकर प्रदर्शन किया और लापरवाही का आरोप लगाया।

नहीं कर कम हो रही घटनाएं

ट्रॉमा सेंटर में लापरवाही के आरोपों की घटनाएं कम होने का नाम नहीं ले रही। केजीएमयू प्रशासन भी शिकायत के बाद सिर्फ जांच कमेटी गठित करता है और होता कुछ नहीं। पिछले 10 दिनों में यह दूसरी घटना है जिसमे परिजनों ने इतने बड़े स्तर पर जाकर लापरवाही का आरोप लगाया है। इससे पहले विजय नगर निवासी वेद प्रकाश के बेटे अश्वनी के इलाज में लापरवाही का आरोप लगा था।

शालू को एक्यूट वायरल इंसेफ्लाइटिस के साथ गंभीर हालत में भर्ती किया गया था। काफी प्रयासों के बावजूद उसे बचाया नहीं जा सका। मरीज की मौत के बाद परिजनों ने रेजीडेंट व स्टाफ के साथ गाली गलौज व अभद्रता की है जो अनुचित है।

प्रवक्ता केजीएमयू

Posted By: Inextlive