-वोटर कार्ड होने के बावजूद लोगों के पुराने पोलिंग सेंटर की वोटर लिस्ट में नहीं थे नाम.

- मतदाता पर्ची न पहुंचने से हुई परेशानी, इपिक नम्बर के जरिए पता चला पोलिंग सेंटर

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KANPUR: पॉर्लियामेंट इलेक्शन में बड़ी संख्या में ऐसे लोग रहे, जिनके घर मतदाता पर्ची नहीं पहुंची. ऐसे लोग वोटर कार्ड लेकर अपने पुराने पोलिंग सेंटर पर पहुंचे तो वोटिंग लिस्ट से नाम गायब मिला. ऐसे में उनकी मदद की इलेक्शन कमीशन के वोटर हेल्पलाइन ऐप ने. पोलिंग सेंटर्स के पास लगे कैंडिडेट्स के कैम्प के लोगों ने इस एप के जरिए वोटर्स के पोलिंग सेंटर तलाश करके जानकारी दी.

 

इपिक नम्बर से मिली हेल्प
साकेत नगर के ताराचन्द्र, विजय कुमार मिश्रा के घर मतदाता पर्ची नहीं पहुंची. वह वोटर कार्ड लेकर वोट डालने के लिए साकेत नगर स्थित सुभाष स्कूल पहुंचे. पर वोटर लिस्ट में नाम न होने की वजह से लौटा दिया गया. उन्होंने बताया कि पिछले इलेक्शन में सुभाष स्कूल में वोट डाला था. वह निराश होकर एक कैंडिडेट के कैम्प में पहुंच गए. उन्होंने वोटर कार्ड दिखाते हुए जानकारी दी. वहां मौजूद ब्रजेश दीक्षित ने वोटर कार्ड के इपिक नम्बर के जरिए उन्हें बताया कि उनका वोट दूसरे पोलिंग सेंटर पर है. इसी तरह इलेक्शन कमीशन के एप की मदद से तलाश कर यश कुमार व वीके सिंह यूपी किराना समिति में वोट करने पहुंचे. यही हाल श्रीराम पब्लिक सेंटर का हुआ.

 

 

वोटिंग बढ़ाने को ई-रिक्शा
वोटिंग बढ़ाने के लिए किदवई नगर के सुशील ने ई-रिक्शा चलाया. हालांकि ई-रिक्शा में वह केवल बुजुर्ग और दिव्यांग मतदाताओं को लेकर यूपी किराना स्कूल लेकर गए और फिर घर छोड़ दिया. यह सिलसिला सुबह 7 बजे ही सुशील ने शुरू कर दिया. उनके रिक्शे पर सवार बुजुर्ग व दिव्यांग वोटर जयेन्द्र सिंह, शिवम शर्मा, राजेन्द्र ने सुशील के इस जज्बे का सलाम किया.

 

दिव्यांग ने डाला पहला वोट
दिव्यांग आशीष दीक्षित ने यूपी किराना स्कूल में पहला वोट डालने का दावा किया. आशीष ने बताया कि बूथ नम्बर 285 में सुबह 7 बजे से पहले पहुंच गए और यहां पहला वोट किया. हालांकि उन्होंने कहा कि पिछले इलेक्शन की तरह इस बार पहला वोट करने के लिए सर्टिफिकेट नहीं दिया गया. जिससे निराशा हुई है.

Posted By: Manoj Khare