-कहा, पार्टी करे फैसला तो चुनाव की कमान संभालने को हूं तैयार

नैनीताल: खूंडूड़ी फिर जरूरी। लगता है खंडूड़ी साहब को भी ये लगने लगा है कि उनकी पार्टी यानि बीजेपी उन्हें जरूरी समझ रही है। गढ़वाल से बीजेपी के सांसद और पूर्व मुख्यमंत्री भुवन चंद्र खंडूड़ी ने कहा है कि अगर पार्टी फैसला करे तो वे मिशन 2017 की कमान संभालने के लिए तैयार हैं। वे आने वाले विधानसभा चुनाव में पार्टी का नेतृत्व करने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। जनरल ने कहा कि राज्य के हालात और यहां की सियासत दोनों ही चिंताजनक हैं और इससे पूरा प्रदेश चिंतित है। जिन आकांक्षाओं के लिए अलग राज्य की लड़ाई लड़ी गई थी उनमें से एक भी पूरी नहीं हुई है। राज्य बनने के 16 साल बाद भी राज्य की दिशा तय नहीं हो पाई है और आंदोलनकारियों की उपेक्षा की जा रही है। ये सभी बातें उन्होंने नैनीताल में पत्रकारों से बातचीत में कहीं।

कांग्रेस पर किया वार

सांसद भुवन चंद्र खंडूड़ी ने कहा कि जिस तरह मौजूदा कांग्रेस सरकार में भ्रष्टाचार के मामले सामने आए हैं उससे पूरे देश में उत्तराखंड की छवि खराब हुई है। इसके लिए पूरी तरह मुख्यमंत्री हरीश रावत जिम्मेदार हैं। मुख्यमंत्री ने भ्रष्टाचार को आदर्श बना लिया है। जिस तरह भ्रष्टाचार को बढ़ावा दिया जा रहा है, उससे उत्तराखंड राज्य निर्माण की अवधारणा पर ही सवाल उठने लगे हैं। इसका नुकसान राज्य की आम जनता को हुआ है। राज्य के विकास की गति मंद पड़ गई है। शहादतों से बना यह राज्य बद से बदतर हो रहा है। यह सबकुछ नकारात्मक राजनीति के कारण हुआ है।

हम सब एकजुट हैं-खंडूड़ी

जनरल ने कहा कि 2017 के लिए बीजेपी ने उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में चुनाव की रणनीति बनाने की कसरत शुरू कर दी है। बीजेपी में सभी एकजुट हैं और मिशन 2017 की जीत हम सबने सुनिश्चित की है। हम सब मिलकर पूरी क्षमता से काम करेंगे।

बॉक्स

कार्यकर्ताओं की राय से तय हो चेहरा: सतपाल

बीजेपी नेता व पूर्व केंद्रीय मंत्री सतपाल महाराज का कहना है कि 2017 के चुनाव में पार्टी का चेहरा तय करने के लिए आम कार्यकर्ताओं से राय ली जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि पिछले लोकसभा चुनाव में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत द्वारा कार्यकर्ताओं से राय ली गई तो उसमें पीएम नरेंद्र मोदी को नेतृत्व सौंपने पर राय मिली थी। सोमवार को नैनीताल के हंस कीर्ति आश्रम में मीडिया से मुखातिब महाराज ने सीएम की अंधाधुंध घोषणाओं पर सवाल उठाते हुए कहा कि एक ओर वह जिलों की घोषणा कर रहे हैं, दूसरी ओर बजट न होने का रोना रो रहे हैं।

Posted By: Inextlive