- घंघोड़ा स्थित गोरखा रेजीमेंट के ट्रक में हुआ धमाका

- रेजीमेंट के कैंपस में खड़ा था सेना का ट्रक

- धमाके में एक सैनिक के हाथों की उंगलियां उड़ी

देहरादून। दून के हाई सिक्योर गढ़ी आर्मी कैंट के वीरपुर घंघोड़ा स्थित गोरखा रेजीमेंट के कैंप में उस वक्त हड़कंप मच गया, जब सेना के एक ट्रक में विस्फोट हुआ। विस्फोट में एक सैनिक की उंगलियां उड़ गई, जबकि दो अन्य घायल हो गए। सभी का मिलिट्री हॉस्पिटल में उपचार चल रहा है। पुलिस, आईबी और मिलिट्री इंटेलिजेंस के अधिकारियों समेत डॉग, बम स्क्वायड और फोरेंसिक टीम भी मौके पर पहुंची और घटना की पड़ताल की। पुलिस के अनुसार विस्फोट बेहद कम तीव्रता का था जिससे ज्यादा नुकसान नहीं हुआ। मौके से बम के टुकड़ों को कब्जे में लिया है। जिनके आधार पर सेना और पुलिस की ज्वॉइंट टीम विस्फोट के कारणों की जांच कर रही है।

ट्रक में हुआ विस्फोट

विस्फोट सेटरडे मॉर्निग में तब हुआ जब 6/8 गोरखा रेजीमेंट के जवान सब्जी लेने मार्केट जाने के लिए सैन्य ट्रक में सवार हुए। पीछे की तरफ राइफलमैन सुनील तमांग सहित चार जवान बैठे हुए थे, जबकि आगे ड्राइवर लेम बहादुर गुरुंग के साथ एक अन्य सैनिक सवार था। एसएसपी पुष्पक ज्योति के अनुसार, करीब को 10.25 बजे जैसे ही ट्रक गेट पर पहुंचा तो पिछले हिस्से में विस्फोट हो गया।

तमांग की उड़ गई थी हथेली

विस्फोट के बाद ड्राइवर गुरुंग ने पीछे जाकर देखा तो राइफलमैन सुनील तमांग लहूलुहान था। उसकी राइट हैंड की उंगलियां हथेली समेत उड़ चुकी थी, जबकि उसके साथ बैठे दो अन्य सिपाही मामूली रूप से घायल थे। सभी को सैन्य वाहनों से मिलिट्री अस्पताल पहुंचाया गया।

धमाके से मचा हड़कंप

आर्मी कैंपस में हुए बम धमाके की सूचना से सैन्य अधिकारियों के साथ पुलिस में भी हड़कंप मच गया। आनन-फानन में एसएसपी पुष्पक ज्योति फोरेंसिक टीम के साथ मौके पर पहुंचे, जबकि आर्मी की फोरेंसिक टीम रुड़की से बुलाई गई। आईबी और मिलिट्री इंटेलीजेंस की टीम भी मौके पर पहुंच गई।

एसएसपी ने बताया कि जांच में पता चला है कि ट्रक में पीछे की तरफ 3-4 इंच का लोहे का एक टुकड़ा पड़ा हुआ था। जिसे सुनील तमांग ने ट्रक का पार्ट सोचकर हाथों में उठाया। इसी दौरान वह फट गया। मौके से विस्फोट हुए टुकड़े के कुछ हिस्सों को कब्जे में लिया गया है। जिसके आधार पर ही जांच पड़ताल की जा रही है।

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बाक्स:::

काटनी पड़ी हाथ की उंगलियां

बम धमाके के कारणों की जांच पड़ताल की जा रही है, लेकिन इससे सुनील तमांग के राइड हैंड की उंगलियों को बुरी तरह फाड़ दिया। बताया जा रहा है कि आर्मी अस्पताल में सुनील तमांग के राइट हैंड की स्थिति को देखते हुए उसकी उंगलियां काट दी गई है। अन्य सैनिकों को मामूली चोटें आई है। जिन्हें प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे दी गई।

मोर्टार का पार्ट हो सकता है

ट्रक में जिस लोके टुकड़े में विस्फोट हुआ यह किसी मोर्टार के प्रोजेक्टाइल (मोर्टार बम के पीछे लगा छोटा पार्ट) जैसा माना जा रहा है। इस हिस्से में भी बारूद मौजूद होता है, जिसमें विस्फोट के जरिए ही मोर्टार को गन से दूर धकेला जाता है।

टिन का डिब्बा गिरने जैसी आवाज

प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, धमाके की आवाज बहुत ज्यादा नहीं थी। यह किसी टिन का डिब्बा गिरने जैसी आवाज थी। लेकिन, जब घायल सैनिक को नीचे उतारा गया, तब पता चला कि यह विस्फोट था। तभी वहां मौजूद अन्य जवान ट्रक की ओर दौड़े।

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मीडिया से छिपाते रहे मामला

आर्मी एरिया में हुए विस्फोट को भले ही मामूली धमाका बताया जा रहो हो, लेकिन इसके पीछे कोई न कोई जरूर जिम्मेदार है। हकीकत सामने न आए इसके लिए मीडिया को भी घंघोड़ा आर्मी कैंपस के साथ ही मिलिट्री अस्पताल में भी नहीं घुसने दिया गया। इसके लिए चप्पे-चप्पे पर सैनिक बल तैनात कर पूरे इलाके को सील कर दिया गया। घटनास्थल के आसपास किसी भी तरह का आवागमन पूरी तरह रोक दिया गया। यहां तक कि आर्मी अधिकारी इस मामले में आधिकारिक बयान देने से भी बचते रहे।

पुलिस और फोरेंसिक टीम को भी करना पड़ा इंतजार

मौके पर आई पुलिस की फोरेंसिक टीम को भी करीब 20 मिनट तक गेट पर ही इंतजार करना पड़ा। गहन पूछताछ के बाद और ऊपर से आए आला पुलिस अधिकारियों के दबाव के बाद ही उन्हें अंदर जाने दिया गया। मीडिया को तो बाहर रोका गया था, लेकिन पुलिस ने भी एविडेंस के लिए फोटोग्राफी करनी चाही तो आर्मी अधिकारियों ने उन्हें भी कैमरा अंदर नहीं ले जाने दिया।

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वर्जन:::

'मौके पर जिस चीज से विस्फोट हुआ है, उससे टुकड़ो को कब्जे में लिया गया है। जिसके आधार पर आगे की जांच की जा रही है.'

पुष्पक ज्योति, डीआईजी/ एसएसपी

Posted By: Inextlive