Meerut : बदलते लाइफ स्टाइल के साथ कई हेल्थ प्रॉब्लम अब लोगों में कॉमन हो गई है. ऐसी ही प्रॉब्लम है ब्लड प्रेशर की. शहर हो या गांव बुजुर्ग से लेकर बच्चे तक इस प्रॉब्लम के शिकार हो रहे हैं. ब्लड प्रेशर के कारण हार्ट सहित अन्य ऑर्गन पर लांग टाइम इफेक्ट होता है. इसलिए ब्लड प्रेशर को आइडियल बनाए रखाने के लिए लाइफ स्टाइल को संतुलित बनाए रखना जरूरी है.


अगर दिक्कत जेनेटिक हैडॉक्टर्स की मानें तो 90 पर्सेंट लोगों में बीपी की समस्या जेनेटिक होता है। यह 40 से 45 वर्ष की उम्र में आती है, लेकिन अगर ऐसे लोग अपनी लाइफ स्टाइल को संतुलित रखें तो इससे बचा जा सकता है।बच्चे भी हो रहे हैं शिकारडॉ। अनिल का कहना है कि आज के बच्चों का खेलना कंप्यूटर पर होता है, चलना मोबाइल पर होता है तो ऐसे बच्चों का मोटापा बढऩा तय है। डॉक्टर के अनुसार 20 से 25 साल के युवकों में भी बीपी की समस्या देखी जा रही है और इसकी संख्या में भी लगातार इजाफा हो रहा है।खतरा है काफी बड़ा


डॉ। अनिल का कहना है कि जब ब्लड प्रेशर ज्यादा होता है और यह लंबे समय तक इसी प्रकार रह जाए तो इससे सबसे ज्यादा हार्ट को नुकसान होता है। नॉर्मल प्रेशर को मेनटेन करने के लिए हार्ट को ज्यादा जोर लगाना पड़ता है, लेकिन कोलेस्ट्रोल की वजह से ब्लड की आपूर्ति सही से नहीं हो पाती है और ब्लड वेसेल्स रैपचर होने का खतरा रहता है। इससे किडनी भी खराब हो सकती है और आंखों की रोशनी पर भी असर पड़ता है। कई बार ब्रेन स्ट्रोक भी इसी वजह से होती हैं।ब्लड प्रेशर की जांच

कई बार ब्लड प्रेशर की जांच का रिजल्ट अलग आता है। यहां तक कि नर्स और डॉक्टर के नापे गए बीपी में भी अंतर आता है। ऑफिस में बीपी बढ़ जाता है तो घर में कम हो जाता है। इसे वाइट कोर्ट हाइपरटेंशन कहते हैं। इस प्रकार बढ़े बीपी के इलाज की जरूरत नहीं पड़ती है। बीपी नापने की मशीन सही से न लगाई जाए तो भी रीडिंग गलत आ सकती है.  इसलिए पहली बार में बीपी बढ़ा तो घबराने की जरूरत नहीं है। दो-तीन बार और जांच करा लें फिर भी बीपी बढ़ा रहे तो डॉक्टर की सलाह पर ही दवा शुरू करें।बीपी को लेकर क्या हैं मिथऐसा माना जाता है कि अन्य क्रोनिक डिजीज की तरह ब्लड प्रेशर भी अमीरों को होने वाली बीमारी है। जबकि यह गलत है। डब्ल्यूएचओ के अनुसार सच तो यह है कि अब यह हर तबके के लोगों में देखा जा रहा है। खासकर जिन लोगों की दिनचर्या में फिजिकल एक्टिविटी की कमी के साथ-साथ खानपान में लापरवाही हो.गांवों में भी बढ़ रही है दिक्कत

फारूख नगर हरियाणा में एक ओपीडी में अध्ययन का हवाला देते हुए डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट में बताया गया है कि 179 लोग ओपीडी में आए जिसमें से 101 महिलाएं थीं। 133 लोगों की उम्र 30 से ऊपर थी, जिसमें से 28 नए लोगों में बीपी की पहचान की गई। इससे साफ पता चलता है कि रुरल एरिया में भी बीपी की समस्या बढ़ रही है और पीडि़त होने के बाद भी अनजान हैं। ऐसे लोगों का समय पर ट्रीटमेंट संभव नहीं हो पाता है, जिससे अचानक उन्हें हार्ट अटैक या ब्रेन अटैक हो सकता है।करें लाइफ स्टाइल में सुधारबीपी समेत कई ऐसी बीमारियां हैं जिनसे बचने का सबसे आसान तरीका हेल्दी लाइफ स्टाइल अपनाना है। सुबह जल्दी उठना, सैर करना, योगा, एक्सरसाइज, जिमिंग और मेडिटेशन करना, हल्का और कम ऑयली खाना खाना ये सब हेल्दी लाइफ के लिए के बहुत जरूरी है। इन सब अच्छी आदतों की वजह से बीपी, हार्ट के अलावा ओबेसिटी जैसी कई लाइफ स्टाइल डिजीज से बचा जा सकता है।"ब्लड प्रेशर देखा जाए तो कोई प्रॉब्लम है भी और नहीं भी। इसके होने की दो बड़ी वजह हैं जिनमें से एक तो हेरेडिटी और दूसरा आपका लापरवाह लाइफ स्टाइल। लाइफ स्टाइल सुधारकर एक कारण को तो पूरी तरह से खत्म किया जा सकता है और हेल्दी रुटीन दूसरे कारण को भी काफी कंट्रोल कर सकता है."
-डॉ। आरती फौजदार, कार्डियोलॉजिस्ट

Posted By: Inextlive