इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि आपका presence of mind कैसा है या आप बहुत genius comment करते हैं बल्कि sense of humour होने के लिए जरूरी है रोजमर्रा की जिंदगी से छोटे-छोटे humour collect करने का हुनर होना. Psychologists के मुताबिक अगर आप opposite situation में भी humour ढूंढ़ निकालते हैं तो आपका sense of humour अच्छा माना जाएगा.

अगर याद करें तो हमें अपने दोस्तों के बीच ही एक ऐसा चेहरा नजर आएगा जिसे देखते ही सारे फ्रेंड्स का मूड हल्का हो जाता था, और अपोजिट सिचुएशंस में भी हंसने के ढेरों बहाने मिल जाते थे.
क्लिनिकल साइकोलॉजिस्ट कृष्णकांत मिश्रा के मुताबिक, ‘सेंस ऑफ ह्यूमर जिंदगी को देखने का एक  तरीका है. जब आप किसी चीज को किसी खास एंगल से देखते या उसके बारे में सोचते हैं तो यह दूसरों के लिए एकदम अलग होता है और वहां ह्यूमर क्रिएट होता है. अच्छे सेंस ऑफ ह्यूमर के लिए आपको इंटेलीजेंट होने की जरूरत नहीं है बल्कि आपमें ऑब्जर्वेशन पॉवर होना चाहिए.’
डॉ. मिश्रा सेंस ऑफ ह्यूमर को खुशहाल जिंदगी से जोडक़र देखते हैं. यहां अपनी जिंदगी से जुड़े कुछ सवालों का जवाब देकर आप अपना ह्यूमर कोशेंट चेक कर सकते हैं...

Test your humour quotient
1.आपकी पर्सनालिटी किस तरह की है?
a)खुशमिजाज     
b)शांत   
c)मिली-जुली   
2.जो घटनाएं घट चुकी हैं, वह ज्यादातर किस तरह की थीं?
a)खुशियों भरी     
b)टेंशन देने वाली   
c)मिली-जुली   
3.मौजूदा जिंदगी आपको क्या देती है?
a) खुश होने के छोटे-मोटे बहाने     
b)टेंशन   
c)दोनों   
4.आपसे कोई मजाक करता है, तो आपका रिएक्शन क्या होता है?
a)आपको अच्छा लगता है     
b)बुरा लगता है
c)मिला जुला   
5.दूसरों के साथ जोक शेयर करने में खुद को कम्फर्टेबल पाते हैं?
a)हां     
b)नहीं   
c)कभी-कभी   
Get your score
अगर आपके ज्यादा ऑप्शंस a हैं तो इसमें कोई शक नहीं कि आपको खुद खुश रहने और दूसरों को भी खुश रखने के तरीके आते हैं. आप अच्छी यादों को संजो कर रखते हैं और बुरी चीजों को भूलने में यकीन करते हैं.
क्या करें: इस लेवल को बनाए रखें.
अगर आपके ज्यादातर ऑप्शंस b हैं तो आपको लोगों के साथ थोड़ा सा और खुलने की जरूरत है. आप खुशियों को एंज्वाय तो करते हैं, लेकिन संभल संभल के.
क्या करें: खुश रहने में कंजूसी न करें. जिंदगी का खुल के मजा लें.
अगर आपके ज्यादातर ऑप्शंस c हैं तो आपमें सेंस ऑफ ह्यूमर बिल्कुल भी नहीं है.
क्या करें: आपको खुद के नेचर को बदलने की जरूरत है. चीजों को पॉजिटिवली लेना शुरू कर दें. खुश रहें, दूसरों को भी खुश होने का मौका दें.
डॉ. उन्नति कुमार, साइक्रियाटिस्ट

Posted By: Surabhi Yadav