-खाते में रकम आने पर ही छोडे़ गए जीएम, खाते से लेनदेन पर रोक

Nawabganj : चेक बाउंस होने पर पुलिस ने ओसवाल चीनी मिल के जीएम को पांच घंटे तक हिरासत में रखा। चीनी मिल प्रबंधन ने खाते में पैसा डालने के बाद जीएम की रिहाई हो सकी। वहीं तहसील प्रशासन ने सतर्कता बरतते हुए खाते से लेनदेन पर रोक लगा दी है।

किसानों का नहीं किया था भुगतान

ओसवाल चीनी मिल का पेराई सत्र समाप्त होने के बाद भी ख्0क्ख्-क्फ् का मिल ने किसानों का ख्ब् करोड़ रुपये का भुगतान नहीं किया है। इसको लेकर के कमिश्नर ने ओसवाल चीनी मिल को क्भ् मई ख्0क्फ् तक किसानों का भुगतान कराने के निर्देश दिए थे। इसके चलते बीते क्8 मई ख्0क्फ् को गन्ना समिति के सचिव प्रदीप यादव की ओर से ओसवाल चीनी मिल के अध्यक्ष कश्मीरा सिंह, उपाध्यक्ष आशीष खन्ना के खिलाफ थाना हाफिजगंज में रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी। इसके बाद तहसील प्रशासन ने मिल में रखी क्ख् हजार कुंतल चीनी को कुर्क करने साथ ही चीनी की नीलामी की प्रक्रिया शुरू कर दी, लेकिन प्रशासन की हीलाहवाली के चलते चीनी की नीलामी नहीं हो सकी। फिर में नवागत आइएएस एसडीएम इंदुमती से किसानों ने गन्ना भुगतान कराने की मांग की। इसके बाद तहसील प्रशासन के सख्त रवैये के चलते पांच दिन पहले मिल प्रबंधन ने तहसील प्रशासन से एक हजार कुंतल चीनी खरीदी थी। रुपये देने के बाद चीनी का उठान करना था, जिसके चलते बुधवार को ओसवाल चीनी मिल के जीएम सुरेश शर्मा चीनी का फ्क् लाख फ्0 हजार रुपये का चेक लेकर तहसीलदार खालिद अंजुम के पास पहुंचे। चेक लेने के बाद तहसीलदार को शक हुआ। उन्होंने महानगर में स्थित एचडीएफसी की शाखा में खाता चेक कराया तो उसमें ख् लाख फ्ब् हजार रुपये ही जमा थे। इसकी सूचना तहसीलदार ने एसडीएम इंदुमती को दी। इस पर एसडीएम ने मिल के जीएम के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराने के आदेश दिए। तहसीलदार ने कोतवाली से पुलिस बुला कर उनके हवाले कर दिया। मामले बिगड़ता देख जीएम ने अपने मिल मलिक को नौकरी छोड़ने की धमकी दे डाली। इस पर मिल मालिक ने आनन-फानन में खाते फ्फ् लाख रुपये खाते में डाल दिए। इसके बाद मिल के जीएम को छोड़ा गया। तहसीलदार ने एचडीएफसी शाखा को पत्र भेजकर खाते पर लेनदेन पर रोक लगवा दी है।

Posted By: Inextlive