दिल्ली सरकार के एक महीना पूरा होने पर प्रेस वार्ता कर रहे दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की वार्ता में कांग्रेस के एक विधायक ने उन पर दिल्ली की जनता को धोखा देने सहित कई अन्य आरोप लगाए.


ओखला से कांग्रेस विधायक आसिफ मोहम्मद खान ने साल 2008 की बटला हाउस मुठभेड़ की एसआईटी जांच की मांग करते हुए केजरीवाल का विरोध किया.यह प्रेस कांफ्रेंस दिल्ली सचिवालय में बुलाई गई थी. हंगामा तब शुरू हुआ जब केजरीवाल ने पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे.एक सवाल के जवाब में केजरीवाल ने कहा कि सरकार बटला मुठभेड़ की जांच के लिए एसआईटी नहीं बनाएगी. इसी समय विधायक आसिफ मोहम्मद खान खड़े हो गए और आप के खिलाफ नारे लगाने लगे.केजरीवाल ने कहा था कि अदालत इस मामले में पहले ही फैसला सुना चुकी है हम अदालत के आदेश का सम्मान करते हैं. हम इस मामले की जांच के लिए एसआईटी नियुक्त नहीं करने जा रहे.मुख्यमंत्री के सुरक्षाकर्मियों ने विधायक को रोकने की कोशिश की लेकिन वो नारे लगाते रहे.'आप का समर्थन नहीं करूंगा'


इससे पहले प्रेस कॉन्फ़्रेंस में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष बरखा सिंह के मामले पर कहा कि जितनी भी नियुक्तियां राजनीतिक मंशा से हुई हैं उन्हें हटाया जाएगा.

केजरीवाल ने कहा कि बरखा सिंह कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ चुकी हैं. वो कैसे स्वतंत्र रहकर काम कम सकती हैं? उनके काम में राजनीतिक पुट तो आएगा ही.केजरीवाल ने कहा कि एक महीने में सरकार ने बिजली, पानी, भ्रष्टाचार से लेकर तमाम मुद्दों पर कार्रवाई की है.पानी के मीटर की चेकिंग के लिए दो एजेंसियों की सहायता ली जा रही है और यदि किसी को मीटर जांच करानी हो तो वो उसकी जांच ज़रूर की जाएगी.पिछले दिन रैन-बसेरे में ठंड से हुई मौतों पर स्पष्टीकरण देते हुए केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली में जितने रैन-बसेरे हैं वो केवल 17-18 हजार लोगों के लिए ही पर्याप्त हैं.उन्होंने कहा कि एक महीने में दिल्ली सरकार ने दर्जनों नए रैन-बसेरे बनाए लेकिन ये नाकाफ़ी हैं और आने वाले समय में और रैन-बसेरे बनाए जाएंगे.लोकपाल बिल के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि अगली कैबिनेट मीटिंग में इस संबंध में प्रस्ताव लाया जाएगा.

Posted By: Subhesh Sharma