विवि प्रशासन ने तेज तर्रार अफसरों की टीम बनाने के लिए लिखा पुलिस व प्रशासन को पत्र

10 वर्ष से जड़ जमा चुके हैं अराजक तत्व, अपराधियों तीन समूह प्रमुख रूप से है सक्रिय

prayagraj@inext.co.in

PRAYAGRAJ: इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के हास्टल्स में जमे अपराधियों की कमर तोड़ने के लिए विवि प्रशासन धड़ाधड़ कदम उठा रहा है. इसी क्रम में विवि प्रशासन ने डीएम और एसएसपी से हास्टल्स के लिए टास्क फोर्स के गठन की मांग की है. विवि प्रशासन ने अफसरों को सूचित किया है कि डॉ. ताराचन्द, सर पीसीबी, सर सुन्दर लाल, डायमंड जुबिली, सर राधाकृष्णन, हालैंड हाल, हिन्दू हास्टल में एक दशक से अपराधियों ने कब्जा जमा रखा है. छात्रावास में रह रहे अपराधी अपने गुर्गो के माध्यम से प्रमुख अपराधियों के सम्पर्क में हैं.

कानून व्यवस्था कर रहे तहस-नहस

विवि प्रशासन ने जिला प्रशासन और पुलिस के अफसरों को जानकारी भेजी है कि अपराधी तत्व छात्रावास में अपने गुर्गो के माध्यम से कोचिंग सेंटर, नर्सिग होम, पेट्रोल पम्प तथा ठेकोदारों से नियमित वसूली करवा रहे हैं. इनके द्वारा छात्रसंघ चुनाव में अपने उम्मीदवारों को खड़ा किया जाता है और उन्हें धनबल मुहैया करवाया जाता है. वर्तमान में हास्टल्स में दो तीन अपराधिक समूह सक्रीय हैं जो विवि की कानून व्यवस्था को तहस नहस कर रहे हैं. इनमें सात-आठ वर्षो से छद्म नाम से अपराध करने वाले भी सक्रिय हैं.

भेष बदलकर रह रहे हैं अपराधी

पुलिस को भेजी सूचना में कहा गया है कि डॉ. ताराचन्द छात्रावास के कमरा नम्बर 2/18 में रहने वाले के साथ ही और भी हास्टल में रह रहा एक अराजक तत्व छद्मवेश में है. इन्हें एफआईआर के तीन वर्ष बाद भी चिन्हित नहीं किया जा सका है. अनुरोध किया गया है कि हास्टल्स में 10 वर्षो से जमे अपराधियों पर शिकंजा कसना अकेले विवि प्रशासन के लिए संभव नहीं है. ऐसे में पुलिस के तेज तर्रार अधिकारियों के साथ टॉस्क फोर्स का गठन किया जाए.

जिला प्रशासन और पुलिस को पत्र लिखकर कहा गया है कि एक सशक्त कार्यबल बनाया जाए. जो विवि, जिला और पुलिस प्रशासन के सतर्कता अधिष्ठानो से समन्वय स्थापित करके काम करे. इससे 10 वर्षो से जड़ जमा चुके अपराधियों के प्रभाव को नष्ट किया जा सकेगा. विवि प्रशासन शत प्रतिशत सहयोग के लिए तत्पर है.

प्रो. आरएस दुबे,

चीफ प्रॉक्टर एयू

Posted By: Vijay Pandey