दाखिल-खारिज के लिए स्पॉट पर जाएं राजस्व कर्मचारी
- डीसीएलआर और एडीएम को दाखिल-खारिज के लंबित मामलों की नियमित समीक्षा करने का निर्देश
BIHARSHARIFF/PATNA: दाखिल-खारिज की प्रक्रिया भले ही सारे अंचलों में ऑनलाइन कर दी गई है लेकिन इससे पहले जमीन का सत्यापन जरूरी है। डीएम ने सभी राजस्व कर्मचारियों को दाखिल-खारिज के पहले स्पॉट पर जाने को कहा और सीओ को जांच रिपोर्ट समय देने का निर्देश दिया। ताकि आमजन को दाखिल खारिज के लिए नाहक ज्यादा दिन इंतजार न करना पड़े और गलत जमीन की दाखिल खारिज से बचा जा सके। यह बातें मंगलवार को हरदेव भवन सभागार में राजस्व की समीक्षा बैठक में डीएम डॉ। त्यागराजन एसएम ने कही। डीएम ने राजस्व कर्मचारियों से स्पष्ट कहा कि जो लोग स्थल जांच कर उसकी रिपोर्ट सीओ को समय पर नहीं देंगे, उनपर कार्रवाई की जाएगी। रसीद ऑनलाइन सिस्टम से करें जारीउन्होंने बैठक में मौजूद डीसीएलआर व एडीएम से कहा कि दाखिल-खारिज के लंबित मामलों की नियमित समीक्षा करने की प्रवृति डालें। भू-लगान की रसीद ऑनलाइन सिस्टम से जारी करें। जिस भू-स्वामी का पिछला लगान बकाया है, उस बकाया को कम्प्यूटर में अपलोड कर लें। ताकि जब वह करेंट लगान रसीद लेने आए तो उससे बकाया राशि वसूल करने के बाद ही करेंट रसीद निर्गत की जाए। उन्होंने कहा कि दफ्तर को छोड़कर क्षेत्र का निरीक्षण करने की आदत सभी डीसीएलआर व एडीएम डालें। फिर निरीक्षण प्रतिवेदन डीएम को दें। डीएम ने कहा कि गैर सर्वेक्षित जमीन का निबंधन करने के पहले विभाग से अवश्य मार्गदर्शन लें।
भूदान की जमीन का दें विवरण राजस्व की बैठक में मौजूद भूदान भूमि वितरण जांच आयोग के सदस्य विनोद कुमार झा और रामविलास पासवान ने राजस्व से जुड़े सभी अधिकारियों को भूदान एक्ट के प्रावधानों के बारे में विस्तार से जानकारी दी। उन्होने सभी अंचलाधिकारी व डीसीएलआर से कहा कि भूदान संबंधी जितनी जमीन जिले में है। उसका विवरण बनाकर उसका प्रतिवेदन आयोग को दें। वहीं एडीएम नौशाद अहमद को भूदान यज्ञ कार्यालय का निरीक्षण करने को कहा। इस अवसर पर बैठक में सभी डीसीएलआर व अंचलाधिकारी तथा राजस्व कर्मचारी मौजूद थे।