- धनपुर स्कूल के मामले का सवाल बदल गया विवाद में

- प्रकाशन वाले मांग अनुसार बुक नहीं देंगे तो होगी कार्रवाई

Meerut : स्टेट के एजुकेशन मिनिस्टर का ब्लड प्रेशर उस समय हाई हो गया, जब मीडिया ने धनपुर स्थित राष्ट्रीय इंटर कॉलेज के मैनेजमेंट को लेकर सवाल उठाया। बस फिर क्या था मंत्री जी का पारा हाई हो गया। वो उठकर कमरे में चले गए। दरअसल माध्यमिक शिक्षा मंत्री महबूब अली रविवार को मेरठ में शिक्षा से जुड़ी सरकार द्वारा चलाई योजनाओं की जानकारी देने पहुंचे। इसी दौरान सर्किट हाउस में उनकी पीसी का आयोजन किया गया था। अपनी प्रमुख योजनाओं व लक्ष्यों की जानकारी दे रहे थे। उसी समय धनपुर के इंटर कॉलेज में होने वाले प्रबंधक के चुनाव बंद कमरे में होने को लेकर सवाल उठा। बस सवाल उठते ही दोनों पक्षों में विवाद शुरू हो गया।

ये था पूरा मामला

मंत्री अपनी योजनाओं की जानकारी दे रहे थे और मीडिया भी सवाल कर रहा था। इतने में मीडिया से धनपुर स्थित राष्ट्रीय इंटर कॉलेज के मैनेजमेंट इलेक्शन को सवाल उठाया गया। मौके पर दोनों पक्षों आमने सामने हो गए और एक-दूसरे पर आरोप प्रत्यारोप लगाते हुए खींचातानी करने लगे। दोनों पक्षों में आपसी विवाद को बढ़ता देखते ही देखते मंत्री का गुस्सा सातवें आसमान पर चढ़ गया और वो गुस्से में लाल पीले होकर कमरे में चले गए।

खूब उछला मामला

धनपुर में राष्ट्रीय इंटर कॉलेज स्कूल है, जहां पर अगस्त में चुनाव हुआ था। स्कूल के प्रबंधक चुनाव जीतने के बाद अब अमरीश प्रबंधक हैं। मामले को लेकर गांव समिति से पहुंचे सदस्यों का पूर्व प्रबंधक पर आरोप था कि वह पिछले बीस सालों से बंद कमरे में चुनाव करवाता है। अपने ही लोगों को विजयी कराता है। गांव के जगपाल और मांगेराम और उसके साथियों ने मंत्री से इस मामले पर सख्त जांच करने की मांग उठाई। उधर खुद पर लगाए गए इलजाम को बेबुनियाद बताते हुए पूर्व प्रबंधक ने इसका जमकर विरोध किया। देखते ही देखते दोनों पक्षों में खींचातानी होने लगी। मामला बढ़ते देख मंत्री उठकर कमरे में चले गए और कमरे को बंद कर दिया गया।

यूं कर दिया रफादफा

जांच के लिए अभी जेडी को बोला जा रहा है ऐसा कहते हुए मंत्री कमरे में चले गए। मामले में जेडी को फोन करके जानकारी ली गई। उधर जेडी ने कहा कि मामले में जांच हो चुकी है। जेडी के इतना कहने पर ही मंत्री ने मामले को रफादफा कर दिया।

डीआईओएस की फटकार

मामले का पूरा गुस्सा मंत्री ने डीआईओएस पर निकाल दिया। एक और इस मामले का गुस्सा था। वहीं दूसरी तरफ जैसे ही मंत्री को यह मालूम पड़ा की अभी तक केंद्रों का निर्धारण ही नहीं हो पाया है। वह और भी लाल पीले हो गए। डीआईओएस की फटकार लगाते हुए उन्हें जल्द से जल्द केंद्र निर्धारण का काम पूरा करने का आदेश दिया। मंत्री ने कहा जल्द से जल्द काम पूरा नही हुआ तो सख्त कार्रवाई की जाएगी।

बताए अपने लक्ष्य

मंत्री ने प्रेसवार्ता के दौरान एजुकेशन के हित में लाई गई योजनाओं व अपने लक्ष्यों की जानकारी देते हुए निम्न जानकारी दी।

- स्कूलों के सत्र बदलाव का नहीं शिक्षकों की रिटायर्डमेंट पर किसी भी तरह का असर नहीं पड़ेगा।

- म्80 सरकारी मॉडल स्कूल ब्लॉक में बनेगें, जिनमें से पहले क्80 ब्लॉक के स्कूलों को पीपीपी मॉडल के अनुसार बनाया जा रहा है।

- स्कूलों का समय पहले 9:फ्0बजे से हुआ करता था। जो बदलकर 8:फ्0 किया गया है। वो इसलिए सुबह देरी से स्कूल होने के कारण जो बच्चे पहले गांव जाते थे।

बंद कमरे में ही चलता रहा मंथन

मिनिस्टर ने आलाधिकारियों की समीक्षा बैठक के नाम पर केवल खानापूर्ति ही की। बंद कमरे में ही सभी सिस्टम पर समीक्षा हुई। बंद कमरे में ही एक-एक अधिकारी को बुलाया गया और अंदर ही अंदर सब बातचीत भी पूरी हो गई और बाहर किसी को कानों -कान खबर तक नहीं हो पाई।

Posted By: Inextlive