पूर्व केंद्रीय दूरसंचार मंत्री ए राजा ने अदालत में कहा है कि 2 जी मामले में तत्कालीन वित्त मंत्री पी चिदंबरम को भी गवाही के लिए बुलाया जाए.

ए राजा ने साफ किया कि सोमवार को अदालत में उन्होंने जो बयान दिया था उसमें प्रधानमंत्री या गृह मंत्री को इस मामले में घसीटने की उनकी कोई मंशा नहीं थी।

पिछले छह महीने से जेल में बंद राजा ने अपने बयान में कहा कि रिहाई की मांग करते हुए कहा कि उन्हें अवैध रुप से हिरासत में रखा गया है। उन्होंने कोर्ट से अपील की कि सीबीआई को निर्देश जारी किए जाएं ताकि चिदंबरम को गवाही देने के लिए बुलाया जा सके।

राजा के वकील सुशील कुमार ने विशेष जज ओपी सैनी की अदालत में राजा के ख़िलाफ़ लगाए गए भ्रष्टाचार और अन्य आरोपों पर राजा का पक्ष रखा है। राजा का कहना था कि तत्कालीन वित्त मंत्री चिदंबरम और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह स्वान टेलीकॉम और यूनीटेक के शेयरों को विदेशी फर्म एटिलसैट और टेलीनॉर को दिए जाने के मामले से वाकिफ़ थे। राजा ने साफ किया कि उनकी यह बात प्रधानमंत्री या गृह मंत्री के ख़िलाफ़ आरोप नहीं है।

उन्होंने कहा, ‘‘ मैं सिर्फ अपना बचाव कर रहा हूं। किसी पर आरोप नहीं लगा रहा हूं। मैं प्रधानमंत्री या तत्कालीन वित्त मंत्री को 2जी मामले में फंसाने की कोशिश नहीं कर रहा। मीडिया ने मेरे मुंह में शब्द डाले हैं। उनसे कहिए कि वो सही रिपोर्टिंग करें.’’

राजा ने मीडिया पर उनके बयान को तोड़ने मरोड़ने का आरोप लगाते हुए कहा कि अमरीका में कोर्ट की सुनवाई लाइव टेलीकास्ट की जाती है ताकि ऐसी भ्रम की स्थिति न उत्पन्न हो।

राजा ने कल कहा था कि तत्कालीन वित्त मंत्री जो अब गृह मंत्री हैं उन्होंने प्रधानमंत्री के सामने कहा था कि कारपोरेट क़ानून के अनुसार शेयरों के बेचे जाने को 2जी लाइसेंस की बिक्री नहीं कहा जा सकता है। प्रधानमंत्री इसका चाहें तो खंडन करें।

राजा ने मंगलवार को कंट्रोलर और ऑडिटर जनरल की रिपोर्ट पर भी प्रश्नचिन्ह लगाए और कहा कि उनके आकड़ो पर सीबीआई तक यकीन नहीं कर रही है।

Posted By: Inextlive