जानोगे तो झुलस जाओगे
- धनतेरस और दीपावली पर आग से होने वाले हादसे रोकने के लिए फायर ब्रिगेड की तैयारी है अधूरी
- 197 पदों में से मात्र 93 ही भरे -सीएफओ का पद भी पड़ा है खाली - पीलीभीत सीएफओ के पास है प्रभार BAREILLY: धनतेरस और दीपावली की तैयारियों में जुटे लोगों को यह खबर चौंका सकती है। क्या आप जानते हैं अगर दीपावली के दौरान आग से कोई बड़ा हादसा होता है तो इससे निपटने के लिए आपकी फायर ब्रिगेड कितनी तैयार है? अगर नहीं तो हम बताते हैं। जिले की 44 लाख की आबादी के लिए 197 कर्मियो के पद स्वीकृत हैं, जबकि तैनात हैं सिर्फ 97. यानी आधे से भी कम। 30 अक्टूबर से चीफ फायर ऑफिसर का पद भी खाली पड़ा है। पीलीभीत के चीफ फायर ऑफिसर के पास ही बरेली का अतिरक्ति प्रभार है।30 अक्टूबर को रिटायर हुए चीफ फायर ऑफिसर केएन रावत का कहना है कि स्टाफ की कमी तो पहले से ही है। फायर स्टेशन तो बना दिए गए हैं, लेकिन वहां पर्याप्त संसाधन ही नहीं हैं। तहसीलों में 2 की जगह सिर्फ 1-1 ही फायर टेंडर मौजूद हैं। इतनी चुनौतियां होने के बावजूद भी फायर ब्रिगेड हरसंभव प्रयास कर आग से जानमाल की सुरक्षा में लगी रहती है।
वर्जन
दिवाली पर आग से निपटने के इंतजाम किए जा रहे हैं। स्टाफ की कमी है लेकिन जो मौजूद हैं, उससे ही काम चलाया जाएगा। ब्रह्मानंद दुबे, प्रभारी मुख्य अग्निशमन अधिकारी ---------------------- बॉक्स : फायर की ब्रिगेड है अधूरी - चीफ फायर ऑफिसर का पद तक पड़ा है खाली, पीलीभीत सीएफओ को मिला अतिरिक्त प्रभार - जिले के 7 फायर स्टेशनों में मौजूद है एक स्टेशन ऑफिसर - फायर सब स्टेशन ऑफिसर के नौ के नौ पद हैं खाली - 19 लीडिंग फायर ऑफिसर के मुकाबले सिर्फ 16 - 136 फायरमैन में सिर्फ 58 की ही है तैनाती - फायर टेंडर चलाने के लिए 21 ड्राइवर हैं ब्रिगेड में - 10 फायर टेंडर हैं जिले में, 35 लाख की रूरल आबादी परं सिर्फ 6 ----------------------- बॉक्स : अपग्रेडशन भी नहीं हुआ - हाईराइज बिल्डिंग में आग बुझाने के लिए नहीं हैं हाइड्रोलिक क्रेन - ऑयल डिपो और रिफाइनरी की आग बुझाने के लिए संसाधन नहीं - अभी ड्रम में फोम ले जाकर बुझानी पड़ती है आग - गलियों में लगी छोटी मोटी आग बुझाने के लिए मात्र 2 बाइक ब्रिगेड ------------------------बॉक्स : सिटी में हाइड्रेंट हो गए विलुप्त
- 9 लाख से अधिक की आबादी पर 1 फायर स्टेशन ं - 4 फायर टेंडर हैं मौजूद, 46 हाइड्रेंट में 8 हो गएं विलुप्त ---------------------- मैनपावर-संसाधन नहीं फिर भी झोंक रहे दम - इस साल 19 में 13 लोगों की बचाई जान, झुलसों को पहुंचाया अस्पताल - आग से लगभग पांच करोड़ संपत्ति जली तो 11 करोड़ की बचाई भी