-पूरी फैमिली गांजे की सप्लाई में बन चुकी है मास्टर

-क्राइम ब्रांच ने स्मगलर को तीन साथियों के साथ दबोचा, आठ कुंतल गांजा बरामद

पूरी फैमिली गांजे की सप्लाई में बन चुकी है मास्टर

-क्राइम ब्रांच ने स्मगलर को तीन साथियों के साथ दबोचा, आठ कुंतल गांजा बरामद

ALLAHABAD: allahabad@inext.co.in

ALLAHABAD: क्या फैमिली है बॉस। बाप, बेटे, वाइफ और भाई-भतीजा मिलकर एक साथ स्मगलिंग करते हैं। इलाहाबाद ही नहीं आसपास के जिलों में गांजा सप्लाई करते हैं। पुलिस पकड़ती है, जेल भेजती है लेकिन उनके ऊपर असर नहीं पड़ता। बेल पर रिहा होते ही एक बार फिर से अपने धंधे में लग जाते हैं। मंडे को क्राइम ब्रांच ने एक बार फिर इस फैमिली के दो मेंबर्स के साथ चार स्मगलर्स को अरेस्ट किया। इनके पास से पुलिस ने आठ कुन्तल गांजा बरामद किया है। जिसे वे स्पेशल ट्रक में भर कर सप्लाई करने वाले थे।

चाचा भतीजे की तलाश

एसपी क्राइम अरुण पाण्डेय ने मंडे को पुलिस लाइन में प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि क्राइम ब्रांच ने चार लोगों को फूलपुर में एक ट्रक गांजा के साथ अरेस्ट किया। ट्रक में करीब आठ कुंतल गांजा है जिसकी इंटरनेशनल प्राइज करीब आठ करोड़ रुपए है। पकड़े गए आरोपियों में ढीठ स्मगलर बहरिया का रहने वाला दीपक और उसका बेटा अशोक व इनके साथी मुट्ठीगंज का रमाकांत और मिर्जापुर का रहने वाला तेजधर मिश्रा शामिल हैं। इनके अलावा पुलिस मांडा के रहने वाले त्रिशूल चन्द्र और उसके भतीजे विपिन की तलाश में जुटी है। त्रिशूल मांडा थाने का हिस्ट्रीशीटर भी है। उसके खिलाफ यूपी ही नहीं एमपी में भी गांजा बेचने का मामला दर्ज है।

वाइफ भी जा चुकी है जेल

क्राइम ब्रांच ने बताया कि पकड़ा गया आरोपी दीपक व उसकी पूरी फैमिली कई सालों से इस धंधे में लिप्त है। अंतरिम बेल से वह जेल से बाहर आया था और उसके बाद फिर इस धंधे में जुट गया। इससे पहले पुलिस उसे कई बार इसी आरोप में अरेस्ट कर जेल भेज चुकी है। यही नहीं उसकी फैमिली में बेटे अशोक के अलावा उसकी वाइफ भी लास्ट इयर पकड़ी गई थी। वहीं दूसरी ओर इस गैंग का मास्टर माइंड त्रिशूल चंद्र चन्द्र सबसे शातिर है। वह इलाहाबाद, कौशांबी, प्रतापगढ़ और जौनपुर में गांजे की थोक सप्लाई करता है।

गाड़ी की स्पेशल बनावट

गांजा सप्लाई करने के लिए ये टीम बहुत मेहनत करती है। ज्यादातर लग्जरी गाडि़यों से गांजा की सप्लाई करते हैं। दरअसल ये लोग किसी भी गाड़ी में एक तहखाना बनाते हैं। यह तहखाना कभी आगे गेयर के पास तो कभी नीचे डीजल टंकी के पास बना दिया जाता है। गाड़ी में एक नया बाक्स बनाने में गैंग के मेम्बर रमाकांत को महारत हासिल है। वह हर बार एक नया तरीका इजाद करता है। इस बार ट्रक से माल लाना था। ट्रक के अंदर भी उसने एक स्पेशल बाक्स बना रखा था। इस ऑपरेशन में क्राइम ब्रांच इंस्पेक्टर मनोज रघुवंशी, एसआई अजय सिंह, एसआई राकेश सिंह, एसआई ओम शंकर शुक्ला, कांस्टेबल साबिर, वेद, रवि सेन, अभिषेक, राजेश, पवन, साबिर व जुलकर शामिल रहे।

Posted By: Inextlive