अन्याय के खिलाफ बेटियों ने उठाई झाड़ू और वीरांगना बन रोक दी सड़क

manish.kumar@inext.co.in

PATNA: अन्याय जितना दबाया जाता है, वह उतना ही विस्फोटक रूप लेता है। नया टोला स्थित आर्य कन्या विद्यालय क्लास 6-9 में पढ़ने वाली बेटियां पिछले 6 महीने से अपने साथ हो रहे अन्याय को चुपचाप सह रही थीं। न तो उन्हें छात्रवृत्ति मिल रही है, न पोशाक और साइकिल की राशि। ऊपर से जबरिया 1500 रुपए अतिरिक्त फीस वसूला जा रहा है। शुक्रवार को जब फीस न जमा करने पर नाम काट देने की धमकी दी गई तो सब्र का बांध टूट गया। बेटियों ने चुप रहने की जगह वीरांगना का रूप धारण कर लिया। झाड़ू लेकर वे सड़कों पर उतर आईं और 5 घंटे के लिए सड़क को जाम कर दिया। इस घटना ने शिक्षा व्यवस्था में चल रहे घपले का भी पर्दाफाश कर दिया है। घपला उजागर होते ही जिला शिक्षा अधिकारी ने सभी मामले पर जांच के आदेश दे दिए है।

शिक्षा विभाग में हो रहे 5 घपले

लड़कियों के आरोप पर जब जिला शिक्षा अधिकारी ज्योति कुमार से जवाब मांगा गया तो आप भी देखिए किस तरह वह जांच की आड़ में बचते नजर आए।

छात्रवृत्ति- छात्राओं का आरोप है कि तीन साल से छात्रवृत्ति नहीं मिली है। खाता खुलवा लिया लेकिन उसमें छात्रवृत्ति की राशि नहीं आई।

जवाब- छात्रवृत्ति की राशि अधिकांश में स्कूलों में वितरित हो चुकी है। इन बच्चि्यों को क्यों नहीं मिला यह जांच का विषय है। एक-दो लड़कियां ही होंगी जिन्हें राशि नहीं मिली होगी।

साइकिल की राशि : छात्राओं को साइकिल दिया जाता है। लेकिन इस स्कूल की छात्राओं को अभी तक साइकिल की राशि नहीं मिली है। इससे वो काफी नाराज थी।

जवाब- सभी स्कूलों में राशि बंट गई है। इस स्कूल में अभी तक क्यों नहीं बाटी गई, इसकी जांच करवाई जाएगी।

ड्रेस के रुपए : सरकार की ओर से ड्रेस की राशि दी जाती है। हैरत की बात है कि सेशन खत्म हो रहा है लेकिन अभी तक इन्हें पोशाक की राशि नहीं मिली है।

जवाब- स्कूल में पोशाक राशि नहीं दी गई। कैंप लगाकर वितरित की जाएगी।

एक मुश्त फीस : छात्राओं का एक बड़ा आरोप ये है कि स्कूल प्रबंधन द्वारा एक मुश्त फीस मांगी जा रही है। रुपए नहीं देने पर एडमिट कार्ड भी नहीं दे रहे हैं।

जवाब- सरकारी स्कूल में विकास शुल्क के नाम पर सालाना मात्र 80 रुपए लिया जाता है। यह 1550 क्यों ले रहे हैं, इसकी जांच करवाई जाएगी।

कंप्यूटर ठप : स्कूल में कंप्यूटर लगाए गए हैं। एक दिन भी कंप्यूटर की पढ़ाई नहीं हुई। यहां तक कि कंप्यूटर रूम का ताला तक नहीं खोला जाता।

जवाब- कई स्कूलों में कंप्यूटर खराब है। जल्द ही इन्हें रिपेयर करवाया जाएगा।

Posted By: Inextlive