-रंगों के पर्व होली पर दो दिनों तक छाई रही मस्ती

-होलिका दहन के साथ ही रंग बरसना शुरू हो गया था

prayagraj@inext.co.in

PRAYAGRAJ: हर्बल और लाल, पीला व हरा सहित अन्य रंगों का एक से बढ़कर एक खजाना. अबीर-गुलाल के संग मस्ती और दिलों में रंगों की फुहार लिए होली का उल्लास शहरियों के सिर चढ़कर बोलता रहा. बुधवार को रात सवा आठ बजे भद्रा समाप्त होने के बाद रंगों की बरसात शुरू हो गई. 'रंग बरसे' जैसे सदाबहार गीत के साथ शहर के एक छोर से लेकर दूसरे छोर तक हर कोई खुशियां मनाने में डूबा रहा. इसका उत्साह और उल्लास शुक्रवार को देर रात तक छाया रहा.

गली-मोहल्लों में होलियारों की टोली

रंग पर्व के पहले दिन भोर से ही गली-मोहल्लों में होलियारों की टोलियां अलग-अलग समूह में अबीर-गुलाल और हर्बल रंगों के साथ मस्ती करने निकल पड़ीं. उल्लास में डूबी टोलियां एक-दूसरे पर रंगों की बौछार करती रहीं तो दारागंज, अल्लापुर, कटरा, सिविल लाइंस, अशोक नगर, राजापुर, प्रीतमनगर, रानीमंडी, तेलियरगंज, रसूलाबाद, जॉर्जटाउन, टैगोर टाउन व राजरूपपुर सहित शहर के अन्य सभी एरियाज में लाउडस्पीकर पर होली गीतों की एक से बढ़कर एक प्रस्तुति ने होलियारों को रुककर नाचने-गाने पर मजबूर कर दिया. स्थिति यह रही कि दोपहर तीन बजे तक गली-मोहल्लों में होली का उल्लास छाया रहा.

चौराहों पर टूटता रहा सन्नाटा

जहां शहर के गली-मोहल्लों में होलियारों की टोलियां समूह में मस्त होकर रंगों के पर्व पर सराबोर रहीं. वहीं बालसन चौराहा, फोर्ट रोड चौराहा, लेबर चौराहा अल्लापुर, सुभाष चौराहा व मेडिकल चौराहा सहित शहर के अन्य चौराहों पर रंग-बिरंगी टोपियों और फर्राटा भरती बाइक लेकर युवाओं की टोली 'होली है', 'बुरा ना मानो होली है' जैसे जोशीले जयकारों से सड़कों का सन्नाटा तोड़ती दिखाई दी. कटरा स्थित मनमोहक पार्क चौराहा और नेतराम चौराहे पर तो होली गीतों की धुन 'होली खेले रघुबीरा', 'आज ना छोड़ेंगे' व 'तमंचे पर डिस्को' व 'नाकाबंदी-नाकाबंदी' पर युवाओं द्वारा एक-दूसरे के साथ कपड़ा फाड़ होली का नजारा देखने लायक रहा.

दिन में मस्ती, शाम को मिलन

शहर में दो दिनों तक होली की मस्ती छायी रही तो शाम के वक्त होली मिलन का दौर तेज रहा. घरों में दोस्तों, नाते-रिश्तेदारों की मेहमाननवाजी के लिए स्वादिष्ट व्यंजनों का तड़का लगाया गया. घरों में गुझिया, पूआ व मिठाई, छोला-भटूरा, पनीर टिक्का खिलाकर स्वागत किया गया. यहां नए-नए वस्त्र पहनकर बच्चों और युवाओं ने अपने घर-परिवार के बड़े-बुजुर्गो का आशीर्वाद लिया. वहीं एक-दूसरे को अबीर-गुलाल लगाकर होली की बधाइयां दी. होली के दूसरे दिन शुक्रवार को तो यह सिलसिला दोगुनी रफ्तार के साथ देर रात तक शहर में चलता रहा.

Posted By: Vijay Pandey