- राष्ट्रगौरव को लेकर यूनिवर्सिटी की एडी बिल्डिंग में स्टूडेंट्स ने फिर किया हंगामा

GORAKHPUR : 'सर, यूनिवर्सिटी दौड़-दौड़कर मेरी तबीयत खराब हो गई है, अगर मुझे कुछ होता है तो इसकी जिम्मेदारी यूनिवर्सिटी एडमिनिस्ट्रेशन की होगी' गोरखपुर यूनिवर्सिटी के एडी बिल्डिंग में एग्जामिनेशन कंट्रोलर अखिलेश पाल से स्टूडेंट्स कुछ यूं ही रूबरू थे। मामला था राष्ट्रगौरव एग्जामिनेशन का, जिसमें यूनिवर्सिटी के स्टेच्यूड के मुताबिक चौथा मौका देने का कोई प्रावधान नहीं है। जबकि स्टूडेंट्स यूनिवर्सिटी से एक मौके की और मांग कर रहे हैं। इस पर यूनिवर्सिटी की एग्जिक्युटिव काउंसिल ने भी अपने हाथ खड़े कर लिए हैं और गवर्नर के पाले में गेंद डाल दी है। जिससे स्टूडेंट्स अब यूनिवर्सिटी स्टेच्यूड में सुधार के बाद ही राष्ट्रगौरव का दोबारा एग्जाम दे सकेंगे।

क्या है पेंच?

यूनिवर्सिटी में स्टूडेंट्स को ग्रेजुएशन के दौरान राष्ट्रगौरव का एग्जाम पास करना होता है। इसमें स्टूडेंट्स के पास तीन साल में तीन मौके होते हैं। इस दौरान उन्हें यह एग्जाम क्लीयर करना होता है। मगर तीन साल के बाद भी कई स्टूडेंट्स इसे क्वालिफाई करने में नाकाम रहे। इसमें कुछ तो स्टूडेंट्स की खुद की गलती है कि उन्होंने पहले, दूसरे साल इस एग्जाम को छोड़ दिया, मगर जब तीसरे साल एग्जाम में अपीयर हुए तो उसे क्लीयर न कर सके। ऐसे में राष्ट्रगौरव की वजह से उनका रिजल्ट फंसना तय है। यही वजह है कि स्टूडेंट्स राष्ट्रगौरव का एग्जाम जल्द से जल्द कंडक्ट कराने के लिए अड़े हुए हैं।

वीसी ने सितंबर में कराने का दिया आश्वासन

एग्जाम कंडक्ट कराने की मांग को लेकर जब स्टूडेंट्स की बात एग्जामिनेशन कंट्रोलर ने न सुनी तो वह वीसी के पास पहुंचे। इस पर वीसी ने बताया कि जून में लोकल लेवल पर सारी प्रॉब्लम शॉर्टआउट कर राजभवन भेज दिया जाएगा। वहां से रिजल्ट आने पर एग्जाम करा दिया जाएगा। इसमें एक-डेढ़ माह का वक्त लगेगा, इसलिए सितंबर में एग्जाम कराए जा सकते हैं। आश्वासन के बावजूद स्टूडेंट्स एग्जामिनेशन कराने को लेकर अड़े रहे और वीसी प्रो। अशोक कुमार को घेर कर हंगामा करने लगे। इस पर उनकी ईडीपी सेल इंचार्ज प्रो। अजेय गुप्ता से हल्की-फुल्की नोंक झोंक भी हुई। बाद में वीसी के आश्वासन के बाद स्टूडेंट्स वापस लौट गए।

Posted By: Inextlive