कारवां देखते हुए मुझे बार बार ऐसी फीलिंग आ रही थी कि जिस सड़क पे ये किरदार चल रहे हैं मैं भी उसी सफर में मुसाफिर हूँ। ये हमारे आपके जैसे लोग ही हैं ये कहानी हमारे आपके जैसे लोगों की ही है और बस सफर चलता रहे भले ही मंज़िल मिल जाये। सिंपल शब्दों में कहूँ तो कारवां एक परफेक्ट रोड मूवी है और ये सफर आपको पसंद आएगा।

कहानी :
एक बेटा अपने मरहूम पिता की लाश को खोज रहा है, और इस सफर में उसको मिलते हैं दो हमराही जो चल रहे हैं कारवां में।

समीक्षा :
70 के दशक में गुलजार और ऋषिकेश दा की एक खास बात थी, कि बड़ी बड़ी बातें कैसे आसानी से कहीं जाएं, कैसे आपके हमारे मन को गुदगुदाया जाए। छोटे छोटे पलों से जिन्दगी बनती है और ये पल एक अनंत यात्रा में है जिसके अंत मे सबको एक ही नियति मिलनी है। जिन पलों में ये जिन्दगी बसी है, उन पलों को जीना कितना ज़रूरी है, यही है कारवां फिल्म का सार। कहने को फिल्म की कहानी कोई ऐसी तिलिस्मी नहीं है पर जिस तरह से फिल्म को लिखा गया है, वो इसका इंटरेस्टिंग हिस्सा है। हल्की फुल्की कॉमेडी, बढ़िया डायलॉग और फर्राटे से दौड़ती हुई फिल्म की कहानी इसे खास बनाती है। जहां फिल्म में ठहराव की ज़रूरत है, वहाँ फिल्म आपको रोक कर आत्मविष्लेषण करने को कहती है और बाकी फिल्म आपको एक अलग ही किस्म का रोमांच देती है। फिल्म का आर्ट डायरेक्शन बहुत अच्छा है और निर्देशन के पॉइंट ऑफ व्यू से देखें तो ये फिल्म आकर्ष खुराना की पिछली औसत फिल्म हाइजैक से कहीं ज्यादा बेहतर है। फिल्म में फिजूल का मेलोड्रामा नहीं है, और बेसरपैर के चीप जोक्स नहीं है। फिल्म के एडीटर अजय शर्मा ने एक लिमिटेड रनटाइम में जरनी को समेट कर काफी अच्छा काम किया है।

अदाकारी :
दलकर सलमान साउथ इंडिया के सबसे अच्छे एक्टर्स में से हैं, मैं खुद उनका बड़ा फैन हूँ, उनकी फिल्म चार्ली मेरी पसंदीदा फिल्मों में से एक है। दलकर की पहली हिंदी फिल्म देख के कहीं ये नहीं लगता कि ये उनकी पहली हिंदी फिल्म है। अगर ढंग की फिल्में मिलें तो दलकर हिंदी फिल्मों में भी बड़ा नाम कमा सकते हैं। इरफान तो इरफान हैं ही, इस फिल्म की फनीबोन वही हैं। बस मजा आ जाता है उनको देख कर। फिल्म की नवोदित अभिनेत्री कहीं कहीं पर प्रीति जिंटा की याद दिलाती हैं।

 

Emotions. Adventures. Chaos. Experience all of these as you get on board! #KarwaanTrailerOutNow https://t.co/WiEEAaIo5f @MrAkvarious @dulQuer @mipalkar @RonnieScrewvala @rsvpmovies @IshkaFilms @PritiRathiGupta @TSeries

— Irrfan (@irrfank) June 27, 2018

ये फिल्म एक रेगुलर मसाला मूवी नहीं है, पर दिल से देखेंगे तो ये फिल्म आपको खिलखिलाने पर मजबूर कर सकती है। क्योंकि इस फिल्म में बहुत ज्यादा सब्प्लॉट नहीं हैं इसलिए फिल्म कहीं कहीं आपको स्लो होने का फील देगी, ऐसे चान्सेस हैं पर आपसे ये जरूर कह सकता हूँ कि आपको फिल्म बुरी नहीं लगेगी, और फिल्म में कहा भी है, 'I think sometimes Not Bad is actually good'।

रेटिंग : *** 1/2 STAR

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Posted By: Chandramohan Mishra