बॉलीवुड की वेटरन एक्ट्रेस नूतन अगर आज हमारे बीच होतीं तो अपना 82वां जन्मदिन मना रही होती। भले ही वो अब इस दुनिया में न हों पर फिल्मों में उनके बेहतरीन अभिनय से वो हमेशा हमारे दिल में रहेंगी। यहां जानें नूतन की जिंदगी से जुडी़ कुछ अनसुनी कहानियां...


कानपुर। साल 1950 में फिल्म 'हमारी बेटी' से एक्ट्रेस नूतन ने फिल्म जगत में डेब्यू किया था। इस फिल्म का निर्देशन नूतन की मां शोभना समरथ ने किया था। नूतन के पिता कुमार सेन समरथ भी जाने माने फिल्म निर्देशक थे। - महज 14 साल की छोटी सी उम्र में इस फिल्म से नूतन को बॉलीवुड में एक पहचान मिली और इसके बाद नूतन ने एक से बढ़ कर एक फिल्में दीं। 'हमारी बेटी' के बाद नूतन ने लगभग 70 फिल्मों में बेहतरीन अभिनय करके दर्शकों के दिल में गहरी छाप छोड़ दी है। हालांकि नूतन का फिल्मी करियर सिर्फ 40 साल का ही रहा। - नूतन की कुछ बेहतरीन फिल्मों में 'अनाडी़', 'तेरे घर के सामने', 'सीमा', 'बंदिनी', 'सुजाता', 'मिलन' और 'मैं तुलसी तेरे आंगन की' भी शामिल है। नूतन को बॉलीवुड में बेहतरीन अभिनय करने के लिए पद्म श्री से सम्मानित भी किया जा चुका है।


- फिल्मों में नूतन ने अपना करियर बनाने के बाद रजनीश बहल से शादी कर ली। नूतन और रजनीश के बेटे मोहनीश बहल आज फिल्म इंडस्ट्री का जाना माना नाम हैं। 'हम साथ-साथ हैं', 'हम आपके हैं कौन' और 'दूल्हे राजा' जैसी बेहतरीन फिल्मों में मोहनीश ने अभिनय किया है।

- नूतन ने 1952 में मिस इंडिया का ताज जीता था। इसके बाद वो कई फिल्मों में देव आनंद के अपोजिट नजर आईं। उस वक्त फिल्मों में नूतन और देव आनंद की जोडी़ काफी फेमस हुआ करती थी। नूतन 1957 में फिल्म 'पेइंग गेस्ट', 1957 में फिल्म 'बारिश', 1960 में फिल्म 'मंजिल' और 1963 में फिल्म 'तेरे घर के सामने' में देव आनंद के साथ बतौर लीड एक्ट्रेस स्क्रीन शेयर करती दिखीं। - दर्शक नूतन को हर फिल्म में देव के साथ ही पेयर होते देखना चाहते थे। बॉलीवुड की वेटरन एक्ट्रेस तनुजा और नूतन सगी बहने थीं। इस हिसाब से नूतन काजोल और तनीषा मुखर्जी की मासी हुईं। नूतन की दो बहने थीं तनुजा और चतुरा। - तीनों बहनों में से सिर्फ दो बहनों नूतन और तनुजा ने ही बॉलीवुड में अभिनय किया। वहीं नूतन की तीसरी बहन चतुरा हमेशा लाइम लाइट से दूर रहीं और कभी फिल्मों में अभिनय करने की नहीं सोची।

- नूतन अपने समय की उन एक्ट्रेसेज में से थीं जिन्हें पैसे से ज्यादा अभिनय से प्यार था। इसलिए कई फिल्मों में लीडिंग रोल करने के बावजूद नूतन ने फिल्म मेकर्स से ज्याजा वेतन न मांग कर महज 40 रुपये में ही काम किया। वहीं साल 1986 में नूतन ने दीलिप कुमार के अपोजिट फिल्म कर्मा में लीड रोल किया था। - फिल्म 'कर्मा' बॉक्स ऑफिस पर ब्लॉक बस्टर साबित हुई थी। साल 1989 में नूतन फिल्म 'कानून अपना-अपना' में नजर आई थीं। ये फिल्म नूतन के किरयर की आखिरी फिल्म थी।  इसके बाद 54 साल की कम उम्र में ही ब्रेस्ट कैंसर से नूतन का निधन हो गया। 1952 में नूतन ने जीता था मिस इंडिया का ताज, 10 बातें जो आप नहीं जानतेपहले भी कम बोल्ड नहीं थीं बॉलीवुड की हीरोइनें

Posted By: Vandana Sharma