- शासन ने रावत को हटाकर मसूरी एसडीएम को दी अतिरिक्त जिम्मेदारी

- आईएएस नितिन भदोरिया ने सैटरडे को संभाला एमएनए का कार्यभर

- पूर्व एमएनए हरक सिंह रावत बनाए गए एडीएम नैनीताल

DEHRADUN : नगर निगम की कुर्सी संभालने के बाद से ही विवादों में घिरे मुख्य नगर अधिकारी हरक सिंह रावत पर गाज गिर गई। सैटरडे को शासन ने अचानक उन्हें हटाकर मसूरी के उपजिलाधिकारी आईएएस नितिन भदौरिया को मुख्य नगर अधिकारी की अतिरिक्त जिम्मेदारी सौंप दी। भदौरिया को भी अधिवक्ताओं से विवाद के चलते चार दिन पूर्व ही एसडीएम सदर से हटाकर एसडीएम मसूरी बनाया गया था। लंबे समय बाद निगम को एक मुख्य नगर अधिकारी के रूप में डायरेक्ट आईएएस अफसर मिला है। वहीं, हरक सिंह रावत को एडीएम नैनीताल बनाकर भेजा गया है।

क्0 मिनट के लिए आए रावत

दून नगर निगम पिछले कुछ दिनों से लगातार सुर्खियों में रहा। पहले पैसिफिक हिल, फिर नगर निगम में उपकरण खरीद फरोख्त और इसके बाद कारगी नाला प्रकरण में हरक सिंह रावत का नाम उछला। इस बीच सैटरडे दोपहर अचानक घटे घटनाक्रम में शासन ने एमएनए हरक सिंह रावत को पद से हटा दिया। एमएनए रावत सैटरडे को महज क्0 मिनट के लिए निगम आए और लौट गए, लेकिन किसी तो उनके तबादले की भनक नहीं लगी। जब दोपहर दो बजे एसडीएम मसूरी नितिन भदौरिया ने निगम पहुंचकर एमएनए का चार्ज लिया तो रावत के तबादले का खुलासा हुआ। नितिन आईएएस अफसर हैं जबकि रावत पीसीएस श्रेणी के थे।

नीनू आ सकते हैं निगम

एमएनए हरक सिंह रावत के विवाद के बाद बीते तीन माह से नगर निगम नहीं आ रहे निगम में कांग्रेस के नेता प्रतिपक्ष नीनू सहगल का गुस्सा भी शांत हो गया है। नवंबर में रावत से हुए विवाद में नीनू ने ठानी हुई थी कि जब तक रावत को एमएनए से हटा नहीं दिया जाता, वह निगम में नहीं आएंगे। नीनू की मांग से मुख्यमंत्री हरीश रावत भी पसोपेश में थे।

निगम में अब 'घमासान'

निगम में अब सियासी घमासान होने का प्रबल अंदेशा है। दरअसल, कांग्रेसी पार्षदों की गैर-मौजूदगी का लाभ उठाकर मेयर व एमएनए ने बोर्ड व कार्यकारिणी बैठक किए बिना धड़ाधड़ कई बड़े प्रस्तावों को मंजूरी दे दी थी। विरोध के बावजूद भ्ख् लाख की पोकलैंड मशीन खरीदने से लेकर कंटेनर व ई-रिक्शा, हाथ-ठेली खरीदने के टेंडर तक इसमें शामिल हैं। साथ ही आरोप ये भी हैं कि पुरानी कंपनी को लाभ पहुंचाने के लिए होर्डिग टेंडर रोक दिए गए। फिर, पैसिफिक हिल व साई मंदिर प्रकरण को उठाना और अचानक से ठंडा कर देना सुर्खियों में रहा। ताजा मामले में प्राकृतिक नाला मोड़ने की एनओसी पर तो भाजपा पार्षद तक मोर्चा खोले हुए हैं। ऐसे में अब विपक्षी कांग्रेसी पार्षदों के निगम में लौटने से तमाम पुराने मामलों पर मेयर को मुसीबत झेलनी पड़ सकती है।

व्यवस्थाएं पटरी पर लाना ध्येय

नवनियुक्त मुख्य नगर अधिकारी नितिन भदौरिया ने कहा कि बिगड़ी व्यवस्था पटरी पर लाना ही उनका एकमात्र ध्येय है। भदौरिया ने कहा कि निगम का मुख्य काम शहर साफ सुथरा रखना है। पिछले कुछ दिनों से खुद वह महसूस कर रहे कि कूड़ा उठान उचित नहीं हो रहा। शहर में साफ-सफाई दुरुस्त नहीं है और समाचार पत्रों में लगातार यह समस्या उजागर भी हो रही। ऐसे में सबसे पहले सफाई-व्यवस्था दुरुस्त की जाएगी। बातचीत में भदौरिया ने यह संकेत दे दिए कि बीते दिनों जो भी वित्तीय, प्रशासनिक व अन्य अनियमिताएं सामने आई हैं, सभी की जांच कराई जाएगी। नाला एनओसी के प्रकरण पर भदौरिया ने कहा कि उन्हें अभी इस मामले की जानकारी नहीं है पर शासन ने जांच के लिए जो भी कदम उठाए हैं, वे उसमें नगर निगम की तरफ से पूरा सहयोग करेंगे।

Posted By: Inextlive