मायावती करीब तीन महीने बाद उत्तर प्रदेश की राजधानी में वापस आर्इ हैं। इस दौरान उन्होंने अपने नौ मॉल एवेन्यू स्थित बंगले पर प्रेस कांफ्रेंस कर भाजपा पर जोरदार हमला बोला है।

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LUCKNOW: बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि दलितों, कमजोरों के अलावा उनका किसी से कोई रिश्ता नहीं है। भीम आर्मी के चंद्रशेखर उर्फ रावण का नाम लिए बिना कहा कि कुछ लोग खुद को युवा दिखाने को जबरदस्ती मुझसे बुआ और बहन का रिश्ता बना रहे है। अगर वे वास्तव में दलितों, आदिवासियों और पिछड़े वर्गों के हितैषी हैं तो कोई अलग संगठन बनाने के बजाय बसपा के झंडे तले आकर डॉ। आंबेडकर और कांशीराम के मूवमेंट को आगे बढ़ाएं। वहीं लोकसभा और राज्यों के विधानसभा चुनाव में किसी भी पार्टी के साथ गठबंधन पर कहा कि सम्मानजनक सीटें मिलने पर ही ऐसा संभव होगा अन्यथा बसपा अकेले चुनाव मैदान में जाना पसंद करेगी।


फंसाती नहीं बीजेपी तो नहीं बनते मकान

मायावती ने करीब तीन महीने बाद राजधानी वापस आने पर नौ, मॉल एवेन्यू स्थित अपने बंगले पर प्रेस कांफ्रेंस में भाजपा पर जोरदार हमला बोलते हुए कहा कि अगर भाजपा ने तमाम हथकंडे अपनाकर मुझे फर्जी केसों में न फंसाया होता तो शायद दिल्ली और लखनऊ में मेरे नये मकान न बन पाते। दरअसल अटल बिहारी बाजपेई की सरकार में लोकसभा चुनाव में सीटों के बंटवारे को लेकर जब समझौता नहीं हुआ तो भाजपा ने मेरी सरकार गिराने की धमकी दी। मैंने बसपा मूवमेंट के हित में इस्तीफा दे दिया। इसके बाद उन्होंने ताज प्रकरण का षडय़ंत्र रचकर मेरे परिजनों के यहां छापे डलवाए तो देश का दलित समाज आक्रोशित हो गया और उसने हर स्तर से मेरी आर्थिक मदद करनी शुरू कर दी। ये लोग मुुझे सरकार का मोहताज नहीं देखना चाहते थे और उन्होंने मुझे यह गिफ्ट दिया है। इसके लिए मैं भाजपा की भी शुक्रगुजार हूं।

अटलजी की मृत्यु को भी भुना रहे
मायावती ने कहा कि भाजपा एंड कंपनी पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी बाजपेई की मृत्यु को भी राजनीतिक तौर पर भुनाने में कोई कसर नहीं छोड़ रही। अब जनता इन्हें माफ नहीं करने वाली है। इनका राफेल घोटाले का आरोप भी झेलना पड़ रहा है। अभी तक भाजपा इसका संतोषजनक जवाब नहीं दे पाई है। भाजपा ने अपने चुनावी वादे भी नहीं पूरे किए बल्कि नोटबंदी करके लोगों की कमर तोड़ दी। भाजपा को इसके लिए देश से माफी मांगनी चाहिए। पेट्रोल-डीजल के दामों पर काबू नहीं है और मॉब लिंचिंग की घटनाएं रुकने का नाम नहीं ले रही। कहा कि अगर हमारी सरकार की तरह काम किया जाए तो एससी-एसटी एक्ट के दुरुपयोग की घटनाएं नहीं होंगी। कहा कि जब भाजपा को देश के संवैधानिक नाम भारत को हिंदुस्तान कहने में कोई ऐतराज नहीं है तो एससी-एसटी लोगों को दलित कहने पर भी आपत्ति नहीं होनी चाहिए।
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मायावती का ऐलान, सम्मानजनक सीटें मिलने पर ही गठबंधन करेगी बीएसपी

 

Posted By: Shweta Mishra