-फार्मा फील्ड को लेटेस्ट टेक्नीक व मॉर्डन एजुकेशन की है जरूरत

-लास्ट डे एक्स्प‌र्ट्स ने फ्यूचर पॉसिबिलिटीज पर विचार किए व्यक्त

DEHRADUN : उत्तराखंड में लेटेस्ट टेक्नीक और स्टूडेंट्स को मॉर्डन एजुकेशन देकर फार्मा सेक्टर को एक बेहतर दिशा दी जा सकती है। यह बात फार्मा एक्स्प‌र्ट्स ने एसजीआरआर इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एंड साइंस (आईटीएस) में फॉर्मास्युटिकल साइंस पर ऑर्गनाइज हुई कॉन्फ्रेंस के दौरान एक्स्प‌र्ट्स ने यह बात कही। कॉन्फ्रेंस के लास्ट डे उत्तराखंड के ड्रग कंट्रोलर डा। एससी शर्मा ने स्टेट में फार्मा के फ्यूचर पॉसिबिलिटीज पर विचार व्यक्त किए।

दवाओं की कोटिंग

एसोसिएशन ऑफ फॉर्मास्युटिकल्स टीचर्स ऑफ इंडिया के प्रेसीडेंट डा। महेश बुरांडे ने फार्मा विजन ख्0ख्0 पर विचार व्यक्त किए। आईआईटी रुड़की के डा। जीएस रंधावा ने बायोटेक्नोलॉजी में फॉर्मास्युटिकल की भूमिका पर व्यख्यान दिया। फार्मा इंडस्ट्री से अबोर्ट लैब के एशिया पैसिफिक के डायरेक्टर डा। शिशिर ने दवाओं की कोटिंग के बारे में बताया। आईटीएस फार्मा विभाग की प्राचार्य व सम्मेलन की संयोजक प्रो। प्रीति कोठियाल ने कहा कि देश-विदेश से पहुंचे फार्मा एक्सप‌र्ट्स के बीच उत्तराखंड के स्टूडेंट्स को दिन काफी कुछ सीखने का अवसर मिला। कार्यक्रम में डॉ। नरदेव सिंह, मनीष मिश्रा, योगेन्द्र बहुगुणा, लक्ष्मी गोस्वामी, डॉ। प्रशांत माथुर, डॉ। अरुण कुमार, प्रवीण चौधरी सहित फार्मा विभाग की फैकल्टी व स्टूडेंट्स मौजूद रहे।

Posted By: Inextlive