ये हम आपको डरा नहीं रहे सच्‍चाई बता रहे हैं. एक आटीआई के जवाब में मिली जानकारी की मानें तो बैंकों से भी लोगों का रुपया चोरी हो रहा है. और ये रकम करोड़ों में पहुंच चुकी है.


हाल ही में एक आरटीआई पर कार्यवाही करते हुए जब बैंकों से जानकारी जुटा कर रिर्पोट तैयार की जिसे पढ़ कर सबके होश उड़ गए. आप भी हैरान रह जायेंगे कि इस रिर्पोट के अनुसार पिछले सात से लेकर अब तक सत्ताइस हजार आठ सौ करोड़ रूपए चोरी हो चुका है. इनमें भी ज्यादा रकम सरकारी बैंको से चुराई गई है. जहां प्राइवेट बैंको से कुल चार हजार करोड़ चुराए गए है, वहीं पांच साल में सरकरी बैंको से 24 हजार करोड़ चुराए जा चुके हैं.
बैंक से जुड़े र्सोसेज का कहना है कि ये चोरी बैंकों में काम करने वाले कर्मचारियों की मिलीभगत के बिना संभव नहीं है. ऐसा लगता है कि कुछ ऐसे लोगों का एक संगठन या चोरों का गिरोह है जिसमें बैंक कर्मचारी भी शामिल हैं. ये लोग फर्जी कागजात के जरिए लाखों और करोड़ों रुपए का लोन बैंकों से लेते हैं, या जाली चेक से रकम निकाल लेते हैं, डेबिट और क्रेडिट कार्ड से फ्रॉड करते हैं, इंटरनेट बैंकिंग के जरिए भी धांधली करते है और कई बार फर्जी लोन लेकर गायब हो जाते हैं.  मतलब ऐसे सैंकड़ों तरीके हैं जिनसे बैंक में पड़ा हजारों कस्टमर का पैसा चुराया जा सकता है. ये आंकड़े महज सात साल में चोरी हुए पैसों के हैं. अंदाजा लगाया जा सकत है कि बीते कितने ही सालों में कितनी बड़ी रकम का चूना ग्राहकों को लग चुका होगा.

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Posted By: Molly Seth