अगर आपका मूल कर्मचारी वेतन 6500 रुपये से ज्यादा है तो अब कोई भी कंपनी आप पर पीएफ कटौती का दबाव नहीं डाल सकती.


ईपीएफओ ने इस मामले में जारी किया किया सर्कुलरकर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने इस बारे में 27 मई को इस बारे में सर्कुलर जारी किया है. इसमें कहा गया है कि जिन क्मचारियों की बेसिक सैलरी 6,500 रुपये है उन्हें 12 फीसदी राशि प्रोविडेंट फंड के लिए देनी होगी. कंपनी को भी उसी रेशियो में पैसे देने होंगे. लेकिन अगर किसी की बेसिक सैलरी 6,500 रुपये से ज्यादा है तो उसके लिए पीएफ में पैसे देना जरूरी नहीं है.सुप्रीम कोर्ट ने कहा
जिनकी बेसिक सैलरी ज्यादा है क्या उनके लिए भी पीएफ में पैसे देना जरूरी है? इस लेकर मराठवाड़ा ग्रामीण बैंक ने सुप्रीम कोर्ट में पेटीशन दायर की थी. इस पर सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए कहा था कि अगर एंप्लाई की बेसिक सैलरी 6,500 से ज्यादा है तो कंपनी उस पर पीएफ में पैसे जमा करवाने का दबाव नहीं डाल सकती. कोर्ट ने यह भी कहा कि कंपनी पीएफ के तहत एंप्लाई को मिलने वाली दूसरी फेसिलिटीज कम नहीं कर सकती.

Posted By: Shweta Mishra