-स्कूलों में सेवा दे रहे शिक्षकों को ही मिलेगी डीएलएड की डिग्री

PATNA: डीएलएड की डिग्री लेकर फर्जी टीचर बनने वाले शिक्षकों पर अब शिक्षा विभाग शिकंजा कसने जा रही है। एनआईओएस शिक्षकों की डिग्री की न सिर्फ जांच करेगा बल्कि फर्जी तरीके से बनने वाले शिक्षकों पर कार्रवाई भी होगी। एनआईओएस के अधिकारियों की मानें तो एनआईओएस से फर्जी स्कूल का नाम डालकर डीएलएड कोर्स में रजिस्ट्रेशन कराने वाले कैंडिडेट्स के प्रमाण पत्र में फर्जीवाड़ा पकड़े जाने पर डिग्री पर रोक लगा दी जाएगी। दैनिक जागरण आई नेक्स्ट में पढि़ए शिक्षा विभाग ने कितने अनट्रेंड शिक्षकों की सूची एनआईओएस को सौंपा है और कितने लोगों ने आवेदन किया है।

देनी होगी पूरी जानकारी

एनआईओएस के अधिकारियों की मानें तो शिक्षकों को डीएलएड की प्रमाण पत्र देने से पहले स्कूल की पूरी जानकारी देनी होगी। जहां पर वे वर्तमान में पढ़ा रहे हैं इसके लिए शिक्षकों से सभी कागजात भी लिए जाएंगे। उन कागजातों की पूरी विस्तार से जांच की जाएगी। उसके बाद उन्हें डिग्री दी जाएगी।

शिक्षा विभाग ने सौंपा लिस्ट

शिक्षा विभाग के अधिकारियों की मानें तो प्रदेश भर से 3 लाख लोगों ने डीएलएड प्रमाण पत्र लेने के लिए रजिस्ट्रेशन कराए थे। जबकि अनट्रेंड शिक्षकों की संख्या 1.5 लाख ही है। जो स्कूलों में कार्यरत हैं। इसकी सूची एनआईओएस को दी गई। बाद में प्राइवेट टीचर्स ने भी रजिस्ट्रेशन कराया है। जिसमें कई शिक्षक ऐसे भी हैं जो किसी भी स्कूल में योगदान नहीं दे रहे हैं ऐसे शिक्षकों की जांच-पड़ताल की जाएगी।

15 और 16 मार्च को होगी परीक्षा

डीएलएस कोर्स 508, 509 और 510 की परीक्षा 15 और 16 मार्च को होगी। जिसका परिणाम अप्रैल में जारी किया जाएगा। इसके बाद अनट्रेंड शिक्षकों को डीएलएड की डिग्री दी जाएगी। बताते चलें कि इस कोर्स को करने के लिए सरकारी और प्राइवेट शिक्षकों ने आवेदन किया था।

जो टीचर कहीं पर सेवा नहीं दे रहे हैं और डीएलएड की डिग्री के लिए रजिस्ट्रेशन कराए हैं उनकी जांच की जाएगी। फर्जीवाड़ा पाए जाने पर डिग्री रोक दी जाएगी।

-कमांडर परमप्रीत सिंह, क्षेत्रीय अधिकारी एनआईओएस पटना

Posted By: Inextlive