रमजान में इबादत के लिए एप आएगा काम
- रमजान दुआ, रमादान, किड्स रमजान समेत कई एप्स से करेंगे आपकी मदद
- एप्स का इस्तेमाल से आपको रमजान से जुड़ी मिलेगी तमाम जानकारी Meerut : सहरी इफ्तार से लेकर रोजों से जुड़े मसाइल (मुद्दे) जानने के लिए परेशान होने की जरूरत नहीं है। अब आपकी मदद के लिए वर्चुअल वर्ल्ड तैयार है। बस गूगल एप पर जाइए और अपनी जरूरत के हिसाब से एप को डाउनलोड कर मसाइल (मुद्दे) को जानिए। वहीं इसके अलावा शहर तहसीनी फाउंडेशन ने भी रोजेदारों की सहूलियत के लिए लोगों के मोबाइल पर मैसेज भेजकर उन्होंने रोजेदारों को तमाम जानकारियां देगा। सहरी का बताएगा समय एप्लीकेशन रमजान एंड प्रेयर टाइम एक ऐसा एप है जो सहरी और इफ्तार वक्त आपको बताएगा। इस एप के लोकेटर के जरिए आप जिस जिले में भी होंगे। वहां का सहरी और इफ्तार का वक्त आपके स्मार्टफोन पर डिस्पले हो जाएगा। एप्स पढ़ाएगा दुआइस एप के साथ होने से दुआ की किताब की जरूरत नहीं होती। रमजान दुआ केइस एप्स में सहरी और रोजे खोलने की दुआ समेत तमाम दुआएं मौजूद हैं। एप में दुआएं अरबी में मौजूद हैं। इसके साथ ही इसका अर्थ भी मौजूद है।
रेसिपी बनाने में हेल्परमजान रेसिपी नाम के एप में कई देशों की लजीज पकवान को बनाने का तरीका मौजूद है। जो दिन भर रोजा रखने के बाद डिलिशियस फूड की जरूरत पूरी करता है। मौजूद मेन्यू से कई डिशेज बनाने का स्टेप बाई स्टेप तरीका मौजूद है। जिससे कंफ्यूजन की स्थित नहीं बनेगी।
जकात की मिलेगी जानकारी इस्लाम में जकात यानि दान की एक अहम भूमिका होती है। मुस्लिम इन दिनों गरीबों में जकात डिस्ट्रिब्यूट करते हैं। जकात से जुड़े हुए तमाम नियम इसमें मौजूद हैं। नकद चल-अचल संपत्ति पर अलग अलग कितना जकात देना है। इसकी पूरी की जानकारी एप रमजान एंड जकात पर अवलेबल है। बच्चों करेंगे दुआ किड्स दुआ नाम से मौजूद एप बच्चों को दुआएं पढ़ाएगा और सुनाएगा। जिसे सुनकर बच्चे आसानी से दुआओं को याद कर सकते हैं। इसमें एक से तीन साल और पांच से छह साल की उम्र के बच्चों के लिए दुआएं सीखने के तरीके मौजूद हैं। दुआओं को कई भाषाओं में ट्रांसलेट भी कर सकते हैं।