- राजर्षि पुरुषोत्तम दास टंडन के 133वीं की जंयती पर आयोजित हुए कई प्रोग्राम

- राजर्षि टंडन के विचारों व कार्यों पर वक्ताओं ने रखे अपने विचार

ALLAHABAD: राजर्षि पुरुषोत्तमदास टंडन आदर्श राजनैतिक चरित्र के प्रतीक थे। वे हमेशा से त्याग, तपस्या, अनुशासन की प्रतिमूर्ति थे। हिन्दी के प्रति उनका प्रेम अद्वितीय था। ये बातें फ्राइडे को राजर्षि टंडन की जयंती पर सर्वेन्ट ऑफ द पीपूल्स सोसाइटी की ओर से आयोजित प्रोग्राम में चीफ गेस्ट संयुक्त आयुक्त व्यापारकर अशफाक अहमद ने कही। उन्होंने कहा कि श्री टंडन ने अपने कार्यो के जरिए हमेशा असहाय लोगों की सेवा की। इससे पहले प्रोग्राम की शुरुआत चीफ गेस्ट द्वारा राजर्षि टंडन के चित्र पर माल्यापर्ण और दीप प्रज्जवलित करने से हुआ।

खत्री सभा की ओर से निकाली गई प्रभात फेरी

राजर्षि टंडन की जयंती के मौके पर खत्री सभा प्रयाग की ओर से प्रभात फेरी निकाली गई। प्रभात फेरी की शुरुआत अतरसुइया स्थित उनके निवास से हुई। इसके बाद कल्याणी देवी, दरियाबाद होते हुए लाजपत शिशु विहार पर सम्पन्न हुई। इस दौरान क्षेत्रिय नागरिकों के साथ ही कई स्कूलों के स्टूडेंट्स भी प्रभात फेरी में शामिल हुए। इसके पूर्व खत्री सभा के अध्यक्ष राकेश चढढा ने राजर्षि टंडन के चित्र पर माल्यार्पण किया और उनके व्यक्तित्व पर प्रकाश डाला। उधर राजर्षि टंडन महिला महा विद्यालय में भी राजर्षि टंडन की जयंती पर प्रोग्राम का आयोजन हुआ। जिसमें कालेज की प्राचार्य डॉ। प्रमिला टंडन ने माल्यार्पण व दीप प्रज्जवलित किया।

सकारात्मक परिवेश पर देते थे जोर

उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय में भी राजर्षि टंडन के क्फ्फ्वें जयंती के मौके पर जयंती समारोह का आयोजन हुआ। जिसके अध्यक्षता शिक्षा विद्या शाखा के डायरेक्टर प्रो। एसपी गुप्ता ने की। इस दौरान उन्होंने कहा कि राजर्षि टंडन हिन्दी भाषा के प्रबल समर्थक थे। वे हमेशा सकारात्मक परिवेश पर जोर देते थे। इस दौरान डॉ। आरपीएस यादव, डॉ। नागेन्द्र यादव, डॉ। प्रदीप कुमार पाण्डेय समेत अन्य वक्ताओं ने भी अपने विचार रखें।

Posted By: Inextlive