-मार्च में मिले 89 करोड़ का अभी तक हिसाब नहीं

PATNA: राज्य में उच्च शिक्षा में गुणात्मक सुधार को लेकर सरकार जितनी एक्शन में है उतना ही ं विश्वविद्यालयों में वित्तीय अनुशासन बहाल करने को लेकर भी सख्त है। इसका अहसास मंगलवार को शिक्षा विभाग के विशेष सचिव सतीश चन्द्र झा की अध्यक्षता में उच्च स्तरीय बैठक में कुलसचिवों को हुआ। विशेष सचिव ने चेतावनी दी कि यदि एक सप्ताह में उपयोगिता प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं कराया गया तो कुलसचिवों पर कार्रवाई के लिए राज्यपाल सचिवालय से अनुरोध किया जाएगा। विशेष सचिव की सख्ती पर कुलसचिवों ने एक सप्ताह का समय मांगते हुए कहा कि उपयोगिता प्रमाण पत्र जल्द मुहैया करा दिए जाएंगे। विशेष सचिव सुभाष चन्द्र झा ने कुलसचिवों से पूछा कि पिछले साल मार्च में 89 करोड़ रुपए बतौर अनुदान राशि मुहैया कराया गया था, उसका हिसाब अबतक क्यों नहीं दिया गया। इस पर पहले तो सभी कुलसचिव निरुत्तर हो गए। फिर उपयोगिता प्रमाण पत्र तैयार नहीं होने का बहाना बनाया।

Posted By: Inextlive