एक माह बाद भी नहीं मिल रहा है MST व स्मार्ट कार्ड, पैसेंजर्स कैंट रोडवेज बस स्टेशन का लगा रहे चक्कर

--ICICI बैंक की ओर से बनाया जा रहा है कार्ड, तीस दिन के अंदर देने का है वादा

VARANASI

Case-1

जौनपुर के अमित जायसवाल बनारस के एक प्राइवेट कॉलेज में पढ़ते हैं। कैंट स्थित रोडवेज विभाग में एमएसटी स्मार्ट कार्ड बनवाने के लिए पंद्रह जून को एप्लाई किया है। लेकिन अभी तक स्मार्ट कार्ड बनकर नहीं आया है। इस बीच चार से पांच बार अमित रोडवेज का चक्कर भी लगा चुके हैं।

Case-2

बाबतपुर के अभिषेक सिंह काशी विद्यापीठ में पीजी के स्टूडेंट हैं, क्लास करने के लिए डेली ही उनका यूनिवर्सिटी आना जाना होता है। ऐसे में अभिषेक ने एक माह पहले स्मार्ट कार्ड बनवाने के लिए रोडवेज में अप्लाई किया था लेकिन वह अब तक बनकर नहीं आया है।

बीत गये दो माह

ये दोनों एग्जाम्पल्स यह बताने के लिए काफी हैं कि रोडवेज में स्मार्ट कार्ड व एमएसटी बनवाने के लिए लोगों की कितनी परेशानी फेस करनी पड़ रही है। स्मार्ट कार्ड में खुद रोडवेज रोड़ा बना हुआ है। यूपीएसआरटीसी से अनुबंधित आईसीआईसीआई बैंक की ओर से स्मार्ट कार्ड तीस दिन के अंदर पैसेंजर्स को देने का वादा था, जो दो माह बाद भी नहीं मिल पा रहा है। अमित और अभिषेक की तरह काफी संख्या में ऐसे स्टूडेंट्स व नौकरी पेशा पैसेंजर्स हैं जिन्होंने रोडवेज कैंट बस स्टेशन पर एमएसटी के लिए अप्लाई किया है, मगर उन्हें सिर्फ नेक्स्ट डे आने के लिए आश्वासन दिया जा रहा है।

हर माह आते हैं ब्0 आवेदन

अब तक लगभग डेढ़ हजार से अधिक आवेदन पेंडिंग पड़े हुए हैं, कैंट रोडवेज बस स्टेशन पर आईसीआईसीआई बैंक की ओर से रखे गए स्टाफ भी इस बात को लेकर परेशान हैं कि आखिर स्मार्ट कार्ड बनकर आने में क्यों इतनी देर हो रही है। इसके पूर्व तो एक माह के अंदर लखनऊ से कार्ड बनकर यहां पहुंच जाता था। लेकिन इधर कुछ माह से एमएसटी स्मार्ट कार्ड बनने में विलंब हो रहा है।

सिर्फ जुलाई माह की बात करें तो इस मंथ के दौरान टोटल ब्म् पैसेंजर्स ने एमएसटी व स्मार्ट कार्ड बनवाने के लिए अप्लाई किया है। जबकि दो दर्जन एमएसटी धारक ने रिनुअल कराया है।

लखनऊ से ही एमएसटी कार्ड बनकर आने में विलंब हो रहा है। ऊपर के अधिकारियों से बात की गई है। बहुत जल्द पेंडिंग पड़े स्मार्ट कार्ड आ जाएंगे।

मिथिलेश कुमार

सुपरवाइजर, आईसीआईसीआई बैंक

से बस स्टेशन पर हैं तैनात

ब्0 दिन हो गये लेकिन अभी तक स्मार्ट कार्ड बनकर नहीं आया है, डेली किराया देकर सफर करने में बहुत प्रॉब्लम हो रही है।

संदीप कुमार, पैसेंजर

एक माह बीतने को है लेकिन अभी तक एमएसटी बनकर हाथ में नहीं मिला। एमएसटी के लिए सप्ताह में दो बार रोडवेज का चक्कर लगाना पड़ रहा है।

राजीव कुमार, पैसेंजर

Posted By: Inextlive