- छह दिन पुरानी वारदात में एफआईआर दर्ज

- आईजी का ड्राइवर और एलआईयू एसआई शामिल

देहरादून

आईजी गढवाल रेंज अजय रौतेला की सरकारी स्कार्पियो कार में सवार तीन पुलिस वालों ने चुनावी चैकिंग के नाम पर एक प्रोपर्टी डीलर से लाखों रुपए कैश लूट लिया. प्रोपर्टी डीलर कई तो यह समझकर थाने-चौकी और इनकम टैक्स डिपार्टमेंट में चक्कर काटता रहा कि चुनाव में चेकिंग के दौरान कैश मिलने पर जांच चल रही होगी, कैश वापस मिल जाएगा.जब उसे यह भी पता नहीं चला कि कैश किसने और कहां जब्त किया है, तो उसने एसएसपी से मामले की शिकायत की. एसएसपी ने गोपनीय जांच कराई तो सामने आया कि आईजी को घर छोड़ने के बाद लौटते समय कार सवार को रोककर पुलिसकर्मियों ने उससे कैश लूटा था. जांच में पुलिस वालों की पहचान हो गई. लूट में एसआई दिनेश नेगी, आईजी का ड्राइवर हिमांशु उपाध्याय और मनोज नामका एक अन्य पुलिस वाला शामिल है. वेडनसडे को डालनवाला थाने में एफआईआर दर्ज कर ली गई है. तीनों पुलिस वाले फरार हैं.

गाड़ी में आईजी साहब है, चुनाव की चैकिंग चल रही है:

वारदात बल्लूपुर के पास कैनाल रोड पर रहने वाला प्रोपर्टी कारोबारी अनुरोध पंवार के साथ हुई. उसका एक परिचित अनुपम शर्मा से पैसों का लेनदेन था. 4 अप्रेल को डब्ल्यूआइसी में अनुपम ने रुपयों से भरा बैग दिया,जिसे अपनी कार में रखकर घर लौट रहा था. होटल मधुबन के सामने आईजी गढ़वाल की ऑफिशियल सफेद रंग की स्कार्पियो के चालक ने ओवरटेक कर अनुरोध की कार को रोका. रुकते ही स्कार्पियो से दो वर्दीधारी पुलिसकर्मी उतरे. चुनाव की चेकिंग के नाम पर उन्होंने कार की तलाशी ली और कार में मिला कैश से भरा बैग कब्जे में ले लिया. उसे बताया गया कि स्कार्पियो में आइजी साहब बैठे हैं. चुनाव के चलते बेनामी कैश की चेकिंग कर रहे हैं. पुलिस वालों ने कैश से भरा बैग आइजी की गाड़ी में रखा. एक पुलिस वाला अनुरोध के साथ उनकी कार में आइजी की कार के साथ चलने लगा. सर्वे चौक के पास अनुरोध के साथ बैठे पुलिसकर्मी ने कार रोक दी और खुद उतर गया. अनुरोध ने उससे पूछा कि कहां जा रहे हैं तो पुलिसवाले ने उसे धमका कर वापस भेज दिया.

कई दिन भटकता रहा प्रोपटी डीलर:

चुनाव के दौरान जब्त कैश इनकम टैक्स डिपार्टमेंट को को सौंपा जाता है. अनुरोध अगले दिन इनकम टैक्स डिपार्टमेंट पहुंचा , वहां कैश उनका कैश जब्त होने के बारे में कोई जानकारी नहीं मिली. इस पर अनुरोध को संदेह हुआ. उसे लगा कि जिस अनुपम से वह कैश लाया था उसी ने पुलिस वालों को सूचना देकर उसका कैश लुटवा दिया. इस पर दो-तीन दिन भटकने के बाद वह पुलिस ऑफिसर्स के पास पहुंचा और आपबीती सुनाई. एसएसपी निवेदिता कुकरेती ने शिकायत की गोपनीय स्तर पर कराई तो खुलासा हुआ कि वारदात में आईजी गढ़वाल की सरकारी स्कार्पियों इस्तेमाल हुई है और कार में सवार पुलिस वालों में आईजी का ड्राइवर हिमांशु उपाध्याय के साथ एसआई दिनेश नेगी और एक अन्य पुलिस कर्मी मनोज सवार था. तीनों ने प्रोपर्टी कारोबारी से डरा-धमकाकर लूट की वारदात की.

पूर्वसीएम, पूर्वडीजीपी और पूर्व एसएसपी का करीबी:

लूट का मास्टर माइंड एसआई दिनेश नेगी मूलत: हल्द्वानी का है. वही सरकारी स्कार्पियों कार की पिछली सीट पर बैठा था,जिसे दूसरे पुलिस वालों ने आईजी बताकर प्रोपर्टी डीलर को डराया था. दिनेश पूर्व डीजीपी बीएस सिद्धू का पीआरओ रहा था. पूर्व सीएम का पर्सनल सिक्योरटी ऑफिसर और दो वर्ष पहले दून एसएसपी का पीआरओ भी रह चुका था. हाल ही में वह एलआईयू देहरादून में था, जहां से तबादला हो चुका, फिर भी वह यहीं डेरा जमाए अफसरों के ड्राइवर-गनमैन के साथ मिलकर अवैध वसूली करता रहता था.

जब्त होगी आईजी की सरकारी स्कार्पियो:

वारदात में आईजी की सरकारी गाड़ी प्रयुक्त हुई है. पुलिस ने एफआईआर में तो सरकारी गाडी का नंबर और आरोपियों के नाम शामिल नहीं किए हैं, लेकिन मामले की जांच में नंबर और नाम जोड़ दिए गए है. ऐसे में जांच के लिए आईजी की सरकारी गाड़ी भी जब्त की जाएगी.

इनका कहना:

सरकारी गाड़ी मुझे घर छोड़कर ड्राइवर पुलिस लाइन ले जाता है, रास्ते में उसने कुछ अन्य पुलिस वालों के साथ वारदात की. तीनों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर गिरफ्तारी के लिए प्रयास किए जा रहे हैँ. :

अजय रौतेले आईजी गढ़वाल रेंज

Posted By: Ravi Pal