जानिए रोहित ने कैसे बनाया था वनडे इतिहास का सबसे बड़ा स्कोर, इसके पीछे थी ये कहानी
कानपुर। 13 नवंबर 2014 का दिन भारतीय बल्लेबाज रोहित शर्मा के लिए कभी नहीं भूलने वाला है। यह वो दिन था जब क्रिकेट इतिहास में एक नया कीर्तिमान रचा गया। भारत-श्रीलंका के बीच कोलकाता के ईडन गार्डन में सीरीज का चौथा मैच खेला जा रहा था। भारत ने पहले खेलते हुए पांच विकेट के नुकसान पर 405 रन का पहाड़ जैसा लक्ष्य खड़ा किया। इस विशाल स्कोर के पीछे रोहित शर्मा की वो ऐतिहासिक पारी थी जिसके बाद उन्हें हिटमैन रोहित कहा जाने लगा। रोहित ने इस मैच में 173 गेंदोंं में 264 रन बनाए थे जिसमें 33 चौके और 9 छक्के शामिल थे। रोहित के इस रिकाॅर्डतोड़ पारी खेलने की वजह दरअसल कुछ और थी।
उस दिन भारतीय कप्तान विराट कोहली ने टाॅस जीतकर पहले बैटिंग का निर्णय लिया। भारत की तरफ से अजिंक्य रहाणे और रोहित शर्मा ओपनिंग करने आए थे। अभी मैच का चौथा ओवर चल रहा था और गेंद श्रीलंकाई गेंदबाज इरंगा के हाथों में थी और स्ट्राइक पर थे रोहित शर्मा। रोहित ने इरंगा की बाहर निकलती गेंद पर ऑफ साइड शाॅट मारने की कोशिश की मगर गेंद और बल्ले का सही से संपर्क नहीं हो पाया। गेंद रोहित के बल्ले का बाहरी किनारा लेते हुए थर्ड मैन पर खड़े थिसारा परेरा के हाथों में जा रही थी। यह कैच बेहद आसान था मगर उस दिन किस्मत शायद रोहित के साथ थी। उस वक्त रोहित सिर्फ चार रन पर खेल रहे थे मगर परेरा के हाथों से वो कैच छूट गया और फिर दुनिया ने वनडे इतिहास की सबसे बड़ी पारी देखी।सिर्फ चौके-छक्के से बनाए 182 रनरोहित शर्मा ने 264 रन की इस पारी में 182 रन तो सिर्फ चौके-छक्के से बनाए थे। ऐसा कोई गेंदबाज नहीं था जिसकी रोहित ने पिटाई नहीं की। हिटमैन रोहित के बल्ले से कुल 33 चौके और 9 छक्के निकले थे। ओपनिंग में आए रोहित उस दिन 50वें ओवर में आउट हुए।
पूरी श्रीलंकाई टीम नहीं बना पाई थी रोहित के बराबर रनरोहित की 264 रन की पारी इसलिए भी खास मानी जाती है क्योंकि उस दिन पूरी श्रीलंकाई टीम मिलकर भी रोहित के बराबर रन नहीं बना पाई थी। 404 रन के लक्ष्य का पीछा करने उतरी श्रीलंका टीम 44वें ओवर में सिर्फ 251 रन पर ऑलआउट हो गई। यानी रोहित ने अकेले श्रीलंकाई टीम से 13 रन ज्यादा बनाए थे।वनडे में तीन दोहरे शतक जड़ने वाले इकलौते खिलाड़ीवनडे क्रिकेट में रोहित के नाम तीन दोहरे शतक हैं। ऐसा करने वाले वह दुनिया के इकलौते खिलाड़ी हैं। वहीं सचिन तेंदुलकर, वीरेंद्र सहवाग, क्रिस गेल और मार्टिन गप्टिल के नाम वनडे में दोहरे शतक बनाने का रिकॉर्ड है।