-जल संस्थान में सहायक अभियंताओं के पदोन्नति का है मामला

-संयुक्त ज्येष्ठता सूची को कर दिया गया अलग-अलग

DEHRADUN: कहा जाता है कि सच्चाई हो तो बिल्कुल पानी जैसी, जिसमें आर-पार सब आसानी से नजर आ जाए, लेकिन जिस जल की हम बात कर रहे हैं उसके विभाग में ही गजब की पारदर्शिता नजर आ रही है। यहां आलम यह है कि चहेतों के लिए ही नियम बदल दिए जा रहे हैं। पूछे जाने पर गोल-मोल जवाब के साथ ही मंथन व विचार-विमर्श करने की बात कही जा रही है।

ज्येष्ठता सूची बनाई गई

यहां बात हो रही है उत्तराखंड जल संस्थान की। जल संस्थान में पहली बार सहायक अभियंता की अलग-अलग ज्येष्ठता सूची जारी कर दी गई। सहायक अभियंताओं की सहायक अभियंता (सिविल) एवं सहायक अभियंता (विद्युतत/यांत्रिक) की अलग-अलग ज्येष्ठता सूची बनाई गई। जबकि पूर्व में सहायक अभियंता सिविल एवं विद्युत / यांत्रिक की संयुक्त ज्येष्ठता सूची बनती थी। जबकि विभाग में अलग-अलग कैडर नहीं है।

किस आधार पर करेंगे प्रमोशन

विभाग में कार्यरत सहायक अभियंता सिविल एवं विद्युत / यांत्रिक दोनों का ही कार्य करते हैं। अब ज्येष्ठता सूची अलग-अलग बनने से प्रमोशन का आधार गड़बड़ा रहा है। किस आधार पर किस संवर्ग के सहायक अभियंता का पहले प्रमोशन होगा? यह अभी तक तय नहीं हुआ है। इससे सीधे तौर पर इसे चहेतों को लाभ पहुंचाने की प्रक्रिया करार दिया जा रहा है।

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यह है मामला-

- जल संस्थान में कुल 34 सहायक अभियंताओं के पद के लिए 10 मई 2007 को विज्ञापन जारी हुआ। इसमें 10 पद सहायक अभियंता विद्युत / यांत्रिक के थे, जबकि 24 पद सहायक अभियंता सिविल के थे।

- इस बीच वर्ष 2010 में हरिद्वार लोक सेवा आयोग ने एग्जाम कंडक्ट कराया और 2011 में रिजल्ट भी जारी कर दिया। इसके बाद लोक सेवा आयोग द्वारा प्राप्त अंकों के आधार पर संयुक्त वरिष्ठता सूची निर्धारित की थी।

-इस बीच चयन परिणाम 2012 में पुनरक्षित किए गए। शासन ने प्राप्त अंकों के आधार पर आयोग को संयुक्त प्रवीणता सूची उपलब्ध कराने के निर्देश दिए।

-आयोग ने संयुक्त वरिष्ठता सूची न भेजकर शासन को अभ्यर्थियों की प्राप्त अंकों की सूची उपलब्ध करवाते हुए आवश्यक कार्रवाई करने के लिए बकायदा लिखित में जवाब दिया।

-इसके बाद शासन की ओर से ही सहायक अभियंता सिविल, सहायक अभियंता वैद्युत/यांत्रिक की अलग-अलग ज्येष्ठता सूची (मेरिट लिस्ट) बना दी गई।

-जबकि इससे पहले कई बार शासन अपने कई पत्रों में इस बात का उल्लेख कर चुका है कि जल संस्थान अभियंत्रण सेवा नियमावली 2011 के प्रावधानों के अनुसार सिविल / विद्युत यांत्रिक शाखा के सहायक अभियंताओं को संयुक्त वरिष्ठता निर्धारित की जाती है।

वरिष्ठता को लेकर होगा विवाद

जल संस्थान में अब सहायक अभियंताओं की अलग-अलग मेरिट लिस्ट जारी होने से अभियंताओं के बीच वरिष्ठता का विवाद बढ़ गया है। क्योंकि प्रभारी अधिशासी अभियंता को वरिष्ठता के आधार पर बनाने की दिशा में यह सुनिश्चित करना कठिन होगा कि कौन से संवर्ग का सहायक अभियंता अधिक वरिष्ठ है और कौन सा कम वरिष्ठ है। इस दशा में एक संवर्ग के कम प्राप्तांक वाले या कम ज्येष्ठता वाले सहायक अभियंता को दूसरे संवर्ग के अधिक प्राप्तांक वाले या अधिक ज्येष्ठता वाले सहायक अभियंता से श्रेष्ठ माना जा सकता है।

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यह है नियम

उत्तराखंड जलसंस्थान में अन्य अभियंत्रण विभागों की तरह शाखावार यथा सिविलल/विद्युतत/यांत्रिक के पद पृथक-पृथक चिह्नित नहीं हैं, बल्कि संयुक्त ज्येष्ठता सूची ही निर्गत की जाती है।

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छुट्टी का दिन है। इसको लेकर मैं अभी कोई बात नहीं कर सकता हूं।

-अर्जुन सिंह राठौर, अपर सचिव, पेयजल

आयोग द्वारा सहायक अभियंताओं की अलग-अलग ज्येष्ठता सूची भेजी गई है। सहायक अभियंताओं की डीपीसी किस आधार पर होगी इसको लेकर विचार विमर्श किया जाएगा।

-एसके गुप्ता,सीजीएम, जल संस्थान

Posted By: Inextlive