सूबे में एससी-एसटी आयोग के दुरुपयोग का एक और मामला सामने आया है। हालांकि मथुरा पुलिस की सूझ-बूझ से मामले से इस मामले का पर्दाफाश हो गया है।

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LUCKNOW: सूबे में एससी-एसटी आयोग के दुरुपयोग का एक और मामला सामने आया है। मथुरा में एक महिला द्वारा इसका दुरुपयोग कर सवर्ण जाति के युवाओं के खिलाफ हत्या की झूठी एफआईआर दर्ज करा दी गयी, जिसके बाद पुलिस ने एक युवक को गिरफ्तार कर जेल भी भेज दिया। बाद में युवक के परिजनों ने एसएसपी मथुरा से गुहार लगाई तो पता चला कि महिला ने अपने देवर के साथ मिलकर अपने बेटे की हत्या की थी और ब्राहृमण युवकों पर झूठी एफआईआर करा दी थी। मथुरा पुलिस के इस काम की एससी-एसटी आयोग के चेयरमैन एवं पूर्व डीजीपी बृजलाल ने सराहना करते हुए आरोपी महिला और उसके देवर के खिलाफ प्रभावी पैरवी कर उन्हें सख्त सजा दिलाने के निर्देश दिए हैं।
मुआवजे की भी होगी वसूली
दरअसल दो माह पूर्व मथुरा के थाना नौहझील के ग्राम भैरई में छह वर्षीय प्रिंस की हत्या कर दी गयी थी। मृतक की मां ने इसका आरोप गांव के ही पांच लोगों पर लगाया था। साथ ही मृतक की मां को एससी-एसटी एक्ट के प्रावधानों के तहत करीब चार लाख रुपये मुआवजा भी मिल गया। वहीं जेल भेजे गये युवक के परिजनों ने एसएसपी मथुरा से मिलकर मामले की दोबारा जांच कराने का अनुरोध किया। जांच में सामने आया कि मृतक की मां गुड्डी देवी ने अपने देवर आकाश के साथ मिलकर हत्या की घटना अंजाम दी थी। इसका खुलासा करने पर एससी-एसटी आयोग ने मथुरा पुलिस की सराहना करने के साथ डीएम मथुरा को मुआवजे की रकम वसूलने के निर्देश भी जारी किए हैं। साथ ही आरोपितों के खिलाफ झूठा केस दर्ज कराने, झूठे साक्ष्य देने की एफआईआर दर्ज कराने को भी कहा है। साथ ही इस पर की गयी कार्यवाही के बारे में दस दिन में रिपोर्ट भी तलब की है। साथ ही आगाह किया है कि एससी-एसटी एक्ट के मामलों के दुरुपयोग के मामलों में आयोग द्वारा सख्त कार्रवाई की जाएगी।

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Posted By: Shweta Mishra