दि‍ल्‍ली के मुखर्जी नगर इलाके में शनिवार दोपहर एक पीजी छात्रावास में आग लग गई। हादसे के समय छात्रावास में लड़कियां मौजूद थीं और वह अंदर ही फंस गई थी। इस बीच सिपाही खेमचंद ने अपनी जान पर खेलकर सात छात्राओं को बाहर निकाल लिया। जांच में आग लगने का कारण शार्ट सर्किट बताया जा रहा है।


भूतल पर मौजूद छात्राएं निकल गईंजानकारी के अनुसार मुखर्जी नगर में मकान नंबर 286 में छात्राओं का पीजी छात्रावास है। दोपहर को भूतल पर एसी में चिंगारी निकलने लगी और फिर आग लग गई। आग धीरे धीरे चार मंजिल तक फैल गई। भूतल पर मौजूद छात्राएं निकल गईं, लेकिन पहली मंजिल पर मौजूद सात छात्राएं कमरे में ही फंस गईं।इस बीच थाने से पुलिस बल भी मौके पर पहुंच गया। छात्राओं की चीख सुनकर कांस्टेबल खेमचंद सर्विस लेन पर लगी एसी के सहारे फस्र्ट फ्लोर पर मौजूद खिड़की तक पहुंच गए। इसके बाद उन्होंने हथौड़ी की सहायता से छह फीट लंबे छह सात सरिये को नीचे से तोड़कर मोड़ दिया और एक -एक करके छात्राओं को लोगों की मदद से नीचे उतार लिया। हादसे के वक्त वह सो रही थीं छात्राएं
यूपीएससी की तैयारी कर रही श्वेता ने बताया कि हादसे के वक्त वह सो रही थीं। शोर सुनकर जब उठकर देखा कि कमरे में धुआं भरा हुआ था और बालकनी पर रखे कपड़े जल गए थे। इसके बाद सभी छात्राएं एक कमरे में इकट्ठा हो गईं। करीब आधे घंटा बीत बीत जाने के बाद कमरे में अंधेरा होने के कारण और डर लग रहा था। इस बीच एक सिपाही वहां भगवान बनकर जान बचाने के लिए। उत्तर पश्चिम जिले की पुलिस उपायुक्त असलम खान ने सिपाही को पुरस्कृत करने की बात कही है।

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Posted By: Shweta Mishra