-लीडरशिप क्वालिटी एंड पर्सनाल्टी डेवलपमेंट विषय पर दिया गेस्ट लेक्चर

BAREILLY:

देश के असली ताकत स्टूडेंट हैं। इसलिए स्टूडेंट जिस फील्ड में जाएं, कुछ इनोवेटिव करें। नए आविष्कारों से देश की भी ताकत बढ़ेगी। इसलिए स्टूडेंट्स अपनी ताकत, प्रतिभा और कुशलता को पहचान कर कॅरियर बनाएं। ऐसा करने से किसी स्टूडेंट को नौकरी के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। यह बातें कारगिल युद्ध में दुश्मनों को धूल चटाने वाले योद्धा और परमवीर चक्र से सम्मानित सूबेदार मेजर योगेंद्र सिंह यादव ने कही। फ्राइडे को वह आरयू सभागार में लीडरशिप क्वालिटी एंड पर्सनॉलिटी सब्जेक्ट पर लेक्चर दे रहे थे। लेक्चर को इंजीनियरिंग फैकल्टी ने ऑर्गनाइज किया था।

आविष्कारों से बढ़ी है ताकत

योगेंद्र सिंह यादव ने कहा कि देश की सीमा संभाल रहे फौजी देश सेवा कर रहे है तो देश को मजबूती से स्टूडेंट संभाले हुए हैं। स्टूडेंट के नए-नए आविष्कार के कारण ही देश का मान-सम्मान बढ़ रहा है। इसलिए देश की दूसरी फौजी ताकत आज के स्टूडेंट ही है। इसलिए आप जिस फील्ड में रुचि रखे सिर्फ उसी फील्ड में उन्नति करें। दूसरों की उन्नति के पीछे न भागे। ये जरूरी नहीं कि देश सेवा के लिए फौज में शामिल हो, नए आविष्कार करके भी देश की सेवा की जा सकती है।

कारगिल की कहनी सुन रोने लगे सभी

लेक्चर के दौरान योगेन्द्र सिंह यादव ने स्टूडेंट को कारगिल युद्ध की विजय गाथा सुनाई। इन्होंने बताया कि युद्ध के दौरान कैसे सिर्फ आधा बिस्किट का पैकेट खाकर 72 घंटे तक मोर्चा संभाला। टाइगर हिल के पहाड़ पर चढ़ना तो आसान था, लेकिन उतरना कठिन था, रात में जैसे-तैसे तो टाइगर हिल पर पहुंच गए। दिन में पाकिस्तानी सेना ने हमला कर दिया। जिसमें सभी साथी मारे गए। उन्होंने किसी तरह सेना के उच्च अधिकारियों को पहाड़ के दूसरी ओर छिपे पाकिस्तानी सेना की पूरी जानकारी दी। खून बह जाने के कारण तीन दिन तक बेहोश रहे। होश आने पर पता चला कि भारत ने टाइगर हिल पर जीत पा ली है। युद्ध में सभी साथी शहीद हो चुके थे। आरयू सभागार में विजय गाथा सुनते ही कई स्टूडेंट रोने लगे तो कई स्टूडेंट ने फुल देकर स्वागत किया।

इस दौरान डीन सके गुप्ता, डॉ। एके तोमर, डॉ। अजय यादव, डॉ। नवनीत शुक्ला समेत शिक्षक व स्टूडेंट मौजूद रहे।

Posted By: Inextlive