- रिहायशी इलाकों में हो रहा सिलेंडर रिफिलिंग का काम

- गाडि़यों मे भी अवैध रूप से भरी जा रही एलपीजी

Meerut . सोमवार को जिला अस्पताल के सामने सिलेंडर फटने से प्रशासन और फायर बिग्रेड की लापरवाही फिर सामने आ गई. विभाग के दावों से इतर शहर के रिहायशी इलाकों में खुलेआम रिफिलिंग का कारोबार धड़ल्ले से चल रहा है लेकिन कोई एक्शन नही होता और लापरवाही का नतीजा आम लोगों को भुगतना पड़ता है.

बढ़ रहा कारोबार

शहर के अधिकतर पुराने रिहायशी इलाकों और मलिन बस्तियों में गैस रिफिलिंग का काम जोरों पर चलता है. अधिकतर छोटा सिलेंडर प्रयोग करने वाले दुकान पर जाकर बड़े घरेलू व कामर्शियल सिलेंडर से गैस रिफिल कराते हैं. यही हादसे का कारण बनती है.

कार में भी रिफिलिंग

दूसरी ओर शहर में जगह-जगह पर कार में अवैध रूप से गैस भरने वाले सेंटर्स की भी भरमार है. एक इलेक्ट्रिक मोटर के जरिए घरेलू सिलेंडर से कार के टैंक में गैस भरी जाती है. गत वर्ष यूनिवर्सिटी रोड पर मारुति वेन में ऐसी ही रिफिलिंग के दौरान आग लग गई थी. इससे पहले भी रिफलिंग के दौरान आग लगने के कई हादसे हो चुके हैं लेकिन एक्शन कुछ नही होता.

हाल में हुए हादसे

27 मार्च 2019 : भगवतपुरा में सिलेंडर फटने से घर की छत उड़ गई.

25 अक्टूबर 2018 : सूरजकुंड रोड पर रिफिलिंग के दौरान स्कोडा कार में लगी आग.

23 अक्टूबर 2018 : श्रद्धापुरी में रिफिलिंग के दौरान कार में लगी आग

25 अप्रेल 2018 : आशियाना कालोनी में रिफिलिंग के दौरान लगी आग.

समय-समय पर चेकिंग कर रिफलिंग सेंटर को बंद कराया गया है. शिकायतों के आधार पर भी छापेमारी होती है.

- संजीव कुमार, एफएसओ

Posted By: Lekhchand Singh