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PATNA : पटना में बेरोजगारों पर जालसाजों की नजर है. शिक्षित बेरोजगारों का डाटा तैयार कर उन्हें नौकरी के नाम पर फंसाने का नेटवर्क काम कर रहा है. एक साल में 300 से अधिक बेरोजगारों के साथ धोखाधड़ी हो चुकी है. जालसाजी का यह गैंग ठिकाना और ठगी का आइडिया बदलता रहता है जिससे पुलिस भी तह तक नहीं पहुंच पाती है. दैनिक जागरण आई नेक्स्ट स्टिंग ऑपरेशन में जालसाजों के गैंग का बड़ा खुलासा कर यह बताने जा रहा है कि किस तरह से ठगी का ट्रिक अपनाया जाता है.

ऐसे सामने आए नेटवर्क

पटना के राजेंद्र नगर में स्थित दो कोचिंग संस्थानों के आधा दर्जन स्टूडेंट्स से एक एजेंसी ने नौकरी के नाम पर 10 हजार रुपए से अधिक की ठगी कर ली. स्टूडेंट्स ने पुलिस से इसकी शिकायत की लेकिन यह कहकर वापस कर दिया गया कि पढ़े लिखे हो और अनपढ़ वाला काम करोगे तो क्या होगा. जब डीजे आई नेक्स्ट ने पड़ताल शुरू कर तह तक पहुंचने की कोशिश की तो कई ऐसे नंबर मिले जो इस नेटवर्क की कड़ी थे.

बेरोजगार बनकर शुरू की गई ठगी की पड़ताल

दैनिक जागरण आई नेक्स्ट रिपोर्टर बेरोजगार बनकर जालसाजों के नंबरों पर फोन किया तो ठगी की चेन कड़ी दर कड़ी जुड़ती चली गई. इसमें सबसे पहले सुधीर नाम के लड़के से 886290**** नंबर पर बात हुई तो इस नेटवर्क की बड़ी कड़ी का नंबर मिला. बिहारशरीफ से चल रहे इस गैंग में एक दो नहीं चार लड़कों से बात हुई. इसमें एक खुद को कंपनी का मैनेजर बताने वाला भी शामिल है. स्टिंग ऑपरेशन में जो सच आया वह अब आपके सामने है.

रिपोर्टर - मैं इंटरमीडिएट की पढ़ाई पूरा कर चुका हूं और अब जॉब करना चाहता हूं?

सुधीर - नंबर आपको कहां से मिला.

रिपोर्टर - कोचिंग के एक दोस्त ने दिया है और बोला आप जॉब लगवा देंगे.

सुधीर - हां, जॉब तो लग जाएगी, पटना और अन्य प्रदेश में भी कई कंपनी में जगह बन रही है.

रिपोर्टर - मुझे कैसे आवेदन करना होगा?

सुधीर - देखिए, कंपनी का कुछ नियम है और आप इसका पालन करेंगे तभी आपकी मदद हो पाएगी.

रिपोर्टर - नौकरी की गारंटी हो तो मैं कंपनी की शर्तो पर काम करने को तैयार हूं. नियम क्या है यह तो बता दीजिए?

सुधीर - कंपनी में रजिस्ट्रेशन कराना होता है, इसके लिए पांच हजार रुपए लगते हैं.

रिपोर्टर - कुछ रजिस्ट्रेशन हुआ है क्या?

सुधीर - पटना में एक माह में पांच हजार से अधिक रजिस्ट्रेशन होता है भाई.

रिपोर्टर - नौकरी तो लग जाएगी न? अब तक कितने को दिलाएं हैं?

सुधीर - नौकरी पक्की है और अब तक हजारों लोग नौकरी पाकर ऐश कर रहे हैं.

रिपोर्टर - कहां दिलाएंगे नौकरी, बिहार, यूपी और बंगाल में जहां कहेंगे वहां बैंक में नौकरी मिल जाएगी.

मेन बॉस भी है खिलाड़ी

रिपोर्टर जब सुधीर से बातचीत में इस गिरोह के बॉस का नंबर लेकर बात की तो फ्राड का एक और सच सामने आया. सुधीर और उसके बॉस के नंबर में बस लास्ट के 4 डिजिट चेंज थे. इससे पता चल रहा था कि वह ठगी के लिए मोबाइल सिम भी सिरीज वाले लेते हैं. रिपोर्टर ने बॉस से एजेंट के रूप में केस देने के लिए कमीशन की बात की तो ठगी का धंधा 50 प्रतिशत पर सेट हो गया. खुद को नौकरी सॉल्यूशन कंपनी का बॉस बताने वाले रवि कुमार ने कहा कि हर केस में वह जितना कलेक्शन होगा उसका आधा दे देगा. अब जान लीजिए बॉस की डीलिंग का सच.

रिपोर्टर - मेरे जान पहचान में बेरोजगार स्टूडेंट्स बहुत अधिक हैं. फायदा हो तो उन्हें कंपनी से जोड़ा जाए?

रवि - हां, ठीक है लेकिन तुम कुछ मत करो. बस ऐसे लड़कों का नंबर और उनसे संबंधित जानकारी लेकर आओ.

रिपोर्टर - इससे मेरा फायदा क्या होगा?

रवि - अगर वह कंपनी में रजिस्ट्रेशन करा लिया तो फायदा हो जाएगा, अगर नहीं कराया तो भी कुछ न कुछ लाभ दिया जाएगा.

रिपोर्टर - मेरी तरह और भी लड़के काम कर रहे हैं क्या आपके लिए ?

रवि - एक दो..कई लड़के काम कर रहे हैं और अच्छा पैसा भी कमा रहे हैं.

Posted By: Manish Kumar