- कालिंदी विहार में भूखंड आवंटन पाने को काट रहे चक्कर

- एडीए ऑफिस पर डेली जाते हैं व्यापारी, अफसर रहते गायब

AGRA। सिटी के पेठा व्यापारी परेशान हैं। दो महीने से तमाम व्यापारी का कारोबार ठप पड़ा है। माल बेकार हो रहा है। उनके कारीगर भी अब खाली बैठने लगे हैं। वजह है, एडीए की मनमानी। एडीए कालिंदी विहार में भूखंड पर कब्जा नहीं दे रहा।

कई दिनों से चल रहा मैटर

दरअसल, पेठा इंडस्ट्री कालिंदी विहार शिफ्ट की गई। ताकि सिटी में पॉल्यूशन और गंदगी न हो। सिटी से दूर यह इंडस्ट्री लगाने के लिए एडीए ने कालिंदी विहार में भूखंड अलॉट किए। जिस वक्त भूखंड अलॉट किए गए, उस समय व्यापारियों ने भूखंडों पर कब्जा नहीं किया। चंद रोज पहले विकास प्राधिकरण हरकत में आया। अफसरों ने नूरी दरवाजा स्थित भट्ठियों को तोड़ा। जिससे व्यापारी बेचैन हाे उठे।

भूखंड निरस्त होने से घबराए व्यवसायी

अब एडीए भूखंड के कब्जे को निरस्त कर रहा है। बता दें कि विकास प्राधिकरण ने 90 पेठा व्यवसायियों को कालिंदी विहार में भूखंड आवंटित किए। पांच भूखंडों के आवंटन निरस्त किए जा चुके हैं। इस मामले में दो लोगों ने कोर्ट की शरण ली है। अभी भी 8फ् व्यवसायी एडीए के चक्कर लगा रहे हैं।

फ्राइडे को नहीं मिले सेक्रेटरी

पूर्व में एडीए पेठा व्यवसायियों पर कालिंदी बिहार में रोजगार शिफ्ट कराने के लिए दबाव बना रहा था। जब व्यवसायियों ने कालिंदी विहार में काम शुरू किया तो ख्भ् मार्च ख्0क्ब् को नोटिस देकर काम रुकवा दिया। व्यवसायी दो दिन पहले एडीए सेक्रेटरी से मिलने पहुंचे। तब उन्हें फ्राइडे को आने को कहा। फ्राइडे को व्यवसायी पहुंचे, लेकिन सेक्रेटरी गायब रहे।

प्रभावित हो रहा है बिजनेस

एडीए की मनमानी से पेठा व्यवसाय प्रभावित हो रहा है। व्यवसायी न तो नूरी दरवाजे पर अपना बिजनेस चला पा रहे हैं। न कालिंदी विहार में ही अपना बिजनेस शुरू कर पा रहे हैं।

ये पहुंचे मिलने

राजीव सिंघल, दीपक अग्रवाल, राकेश मित्तल, गुड्डू, प्रमोद शर्मा, बॉबी, लोकेश अग्रवाल, मनोज गुप्ता, अमित अग्रवाल, संतोष, पंकज मिलने पहुंचे।

जो पेठा व्यवसायी बार-बार आ रहे हैं। उनके भूखंडों को निरस्त कर चुका है। निरस्तीकरण के आदेश वापस लेने या रोकने के प्रयास चल रहे हैं। इसके बाद काम कराया जा सकेगा।

रवीन्द्र कुमार, सेक्रेटरी, एडीए।

Posted By: Inextlive