विजेंदर ने कहा, अपने अधिकारियों की समीक्षा करे एआईबीए
करियर पर कड़े प्रतिबंध की उम्मीद
सरिता के करियर पर उस समय बादल छा गए जब एआईबीए के प्रमुख चिंग-कु वू ने कहा कि इंचियोन एशियाई खेलों में विरोध दर्ज करने वाली सरिता देवी पर कड़ा प्रतिबंध लगाए जाने की उम्मीद है. उन्होंने कल ही कहा था कि सरिता को कड़ी सजा दी जायेगी और उसे अपना कैरियर खत्म ही मान लेना चाहिये क्योंकि अस्थायी निलंबन के कारण कल से शुरू हो रही विश्व मुक्केबाजी चैम्पियनशिप से बाहर रही सरिता ने इंचियोन एशियाई खेलों में सेमीफाइनल में विवादित हार के बाद पदक वितरण समारोह में कांस्य लेने से इनकार कर दिया था. इस मामले के बाद से सरिता के करियर पर खतरे के बादल मंडरा रहे हैं.
सरिता को माफ करना चाहिए
भारतीय मुक्केबाजी के पोस्टर ब्वाय विजेंदर सिंह ने एल सरिता देवी का बचाव करते हुए कहा है कि हम खिलाड़ियों को काफी मेहनत और तकदीर के सहारे ऐसे टूर्नामेंट खेलने का मौका मिलता है. एआईबीए को सुनिश्िचत करना चाहिए कि हमें सर्वश्रेष्ठ रैफरी और जज मिलें. उनकी समीक्षा की जानी चाहिए. एआईबीए को चाहिए कि सरिता को माफ करके बेहतर व्यवस्था मुहैया कराने की दिशा में काम करे. एक मुक्केबाज होने के नाते मुझे पता है कि इस तरह से पदक से वंचित किया जाना कैसा लगता है. यह निराशाजनक हार को लेकर जज्बाती प्रतिक्रिया थी. सरिता के भविष्य के बारे में फैसला एआईबीए की कांग्रेस में किया जाएगा जहां अनुशासन समिति इस मसले पर अपनी रिपोर्ट देगी. सरिता अपनी हरकत के लिए बिना शर्त माफी मांग चुकी है.
विजेंदर का कहना है कि विवादास्पद ढंग से मिली हार के बाद वह सरिता की भावनात्मक प्रतिक्रिया थी. एशियाई खेलों जैसे बड़े टूर्नामेंट की तैयारी में चार साल लगते हैं, लेकिन इस तरह से हारना काफी दर्दनाक है. कोई भी खिलाड़ी हो वह निराश होगा और टूट जाएगा. मैं पूरी तरह से सरिता के साथ हूं. भारत के पहले ओलिंपिक और विश्व चैम्पियनशिप पदक विजेता मुक्केबाज विजेंदर ने कहा कि एआईबीए को अपने जजों और रैफरियों की समीक्षा करनी चाहिए.